मार्बल सिटी किशनगढ़ की अनदेखी!

किशनगढ़ विधानसभा क्षेत्र के जाट नाराज

राजकुमार शर्मा
राजकुमार शर्मा

मदनगंज-किशनगढ़। मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे द्वारा सोमवार को मंत्रीमंडल विस्तार में किशनगढ़ विधायक भागीरथ चौधरी को जगह नही दिये जाने से विधानसभा क्षेत्र के जाट समुदाय में भारी नाराजगी है वही अन्य जाति वर्ग के लोगों में भी इस बार चौधरी को मंत्री नही बनाये जाने को लेकर आक्रोश देखा जा रहा है।
सोमवार को जैसे ही मुख्यमंत्री राजे ने मंत्रीमंडल विस्तार की घोषणा के रूप में नये लिए जाने वाले मंत्रियों के नामों का ऐलान किया उस सूची में किशनगढ़ विधायक भागीरथ चौधरी का नाम नदारद पाकर विधानसभा क्षेत्र के लोगों में मायूसी छा गई। क्षैत्र के प्रमुख जाट प्रतिनिधियों का मानना है कि श्री चौधरी जाट समुदाय के न केवल कदावर नेता है वरन इस बार के विधानसभा चुनाव में चौधरी की मतदाताओं में अच्छी खासी पेठ होने से अब तक के हुए विधानसभा चुनावों में सर्वाधिक 31 हजार 900 मतों के भारी अंतराल से जीत दर्ज कर जिले में एक मिसाल कायम की है।
विधायक भागीरथ चौधरी अजमेर जिले में अपनी बेबाक शैली, मिलनसारिता और पार्टी के निर्देशानुसार ईमानदारी से पार्टी के काम को अंजाम देते आ रहे है। अजमेर लोकसभा चुनाव में मुख्यमंत्री राजे के निर्देश पर पार्टी प्रत्याशी सांवरलाल जाट को भारी मतों से जिताने के लिए की गई मेहनत के परिणाम के रूप में सांसद सांवरलाल जाट को क्षेत्र से दिलाई गई मतों की बढ़त सबके सामने है। हाल ही में नसीराबाद उप चुनाव में पार्टी द्वारा चौधरी को जिस क्षेत्र की जिम्मेवारी सौंपी गई वहां से भाजपा प्रत्याशी सरिता गेना को बढ़त दिलाई। श्री चौधरी के इन सब प्रयासों को देखते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के बीच उन्हे जाट समुदाय के कदावर नेता के रूप में माना जाने लगा। इसके चलते माना जाने लगा था कि मुख्यमंत्री राजे के मंत्रीमंडल विस्तार में चौधरी को अवश्य ही शामिल किया जाकर मार्बल सिटी किशनगढ़ के महत्व को बढ़ाया जायेगा। लेकिन मंत्रीमंडल विस्तार घोषणा के ऐन वक्त से पूर्व भाजपा समर्थित संगठन के पदाधिकारियों द्वारा चौधरी के नाम के बजाय जिले की एक महिला भाजपा नैत्री के नाम पर सहमति बना कर मंत्रिमंडल की सूची से भागीरथ चौधरी का नाम नदारद कर किशनगढ़ की जनता को निराश किया है।
मंत्रिमंडल विस्तार में अजमेर उत्तर व दक्षिण विधानसभा क्षेत्र के दोनों विधायको को मंत्रिमंडल में शामिल कर जिले की देहात जनता की आकांक्षा व आशाओं कोनजर अंदाज करना पार्टी को आगामी निकाय व पंचायत चुनाव में नुकसानदायी कदम साबित हो सकता है।
-राजकुमार शर्मा

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