दो वर्षों में 75 लाख से ज्यादा लोगों तक मीठा पेयजल पहुंचाना है

20 july 2017जयपुर, 20 जुलाई। जलदाय मंत्री श्री सुरेन्द्र गोयल ने कहा कि आने वाले दो वर्षों में प्रदेश के 75 लाख से ज्यादा लोगों तक सतही स्रोतांे से मीठा जल उपलब्ध कराना है। इसके लिए विभाग के हर अधिकारी को कमर कस लेनी चाहिए। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी यह सुनिश्चित कर लें कि पेयजल परियोजनाएं समय पर और अच्छी गुणवत्ता के साथ पूरी हो।

श्री गोयल गुरूवार को शासन सचिवालय परिसर से वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए प्रदेश के सभी संभाग और जिला मुख्यालयों पर पदस्थापित अतिरिक्त मुख्य अभियंता और अधीक्षण अभियंताओं से चर्चा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि अच्छी बात है कि विभाग ने 37 में 32 पेयजल परियोजनाओं को समय रहता पूरा कर लिया है और शेष परियोजनाओं का काम प्रगतिरत है। उन्होंने इस अवसर पर राजस्व वसूली, एस्को मॉडल, स्काडा सिस्टम, बजट घोषणा के कार्य, निविदाओं में और अधिक पारदर्शिता, हैंडपंप अभियान, डिग्गी परियोजना, जनता जल योजना, सोलर, आरओ प्लांट सहित 18 बिंदुओं पर अधिकारियों से विस्तृत चर्चा की।

विभाग के प्रमुख शासन सचिव श्री रजत कुमार मिश्र ने कहा कि आमजन को गुणवत्ता युक्त पेयजल उपलब्ध कराना और उनकी समस्याओं को सुनकर समाधान करना सर्वोच्च प्राथमिकता पर है। अधिकारी अपनी कार्यशैली में बदलाव लाकर पारदर्शिता, जवाबदेही और ईमानदारी के साथ काम करेंगे तो विभाग की छवि बेहतर हो जाएगी। उन्होंने कहा कि यह अधिकारियों की सजगता और बेहतर प्रबंधन ही है कि इस बार गर्मियों में प्रबंधन बेहतर रहा।
श्री मिश्र ने कहा कि जहां पेयजल की गुणवत्ता हैं ऐसे क्षेत्रों में आरओ प्लांट की योजना किसी वरदान से कम नहीं है। पूरा देश देख रहा है कि राज्य सरकार किस तरह आरओ प्लांट्स के जरिए दूर-सुदूर के क्षेत्रों में मीठे पेयजल के रूप लोगों को राहत पहुंचा रही है। उन्होंने कहा कि जल्द ही विभाग आरओ प्लांट्स को एक अभियान के रूप में लेकर इनकी पहुंच आसपास की स्कूलों, आंगनबाड़ी केंद्रों, हॉस्टलों तक बढ़ाएगा। इसके अलावा नियोजित कंपनियों को बेहतरीन काम के लिए सर्टिफिकेट और अवार्ड भी शुरू करेगा। उन्होंने भरतपुर क्षेत्र में आरओ प्लांट्स द्वारा पेयजल सप्लाई की तारीफ भी की। उन्होंने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए कि जिन क्षेत्रों में भी आरओ ट्रीटेड पानी की आपूर्ति नियमित नहीं है, खराब पड़े हैं या लग नहीं पाए हैं वे 31 जुलाई तक इसमें सुधार कर अवगत कराएं।

प्रमुख शासन सचिव ने विधानसभा से जुड़े प्रश्नों के जवाब जुलाई माह के अंत तक भेजने के भी निर्देश दिए। उन्होंने सोलर प्लांट, डी फ्लोरिडेशन यूनिट, सिंगल फेज के मामलों में तेजी से और बेहतरीन काम करने वालों को सम्मानित और देरी करने वालों को दंडित करने के लिए भी चेताया। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी जीएलआर की सफाई का विशेष ध्यान रखें और हर छह महीने में उसकी सफाई कराना सुनिश्चित करें। टंकियों की सफाई व्यवस्था जांचने के लिए उन्होंने निरीक्षण दल को भी भेजने के निर्देश दिए।

श्री मिश्र ने कहा कि सभी अधिकारी अधिकाधिक राजस्व वसूली अर्जित करने पर भी ध्यान दें। इस दौरान उन्होंने पानी की छीजत (नॉन रेवेन्यू वाटर) को कम करने, अमृत योजना के तहत पाइप लाइन दुरूस्त करने, सप्लाई सही करने, एस्को मॉडल को अधिक से अधिक जगहों पर लगाने जैसे विषयों पर व्यापक चर्चा की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जल स्वालंबन अभियान ने प्रदेश में जल संकट को काफी हद तक दूर किया है ऐसे में इसके स्ट्रक्चर जितने जल्दी और गुणवत्तायुक्त बनेंगे आमजन को उतनी ही राहत मिलेगी। उन्हाेंने कहा कि श्रीगंगानगर, बीकानेर, जैसलमेर और हनुमानगढ़ जिलों में डिग्गी को लाइफलाइन कहा जाता है। उन्होंने अधिकारियों को इनके निर्माण में गति लाने के भी निर्देश दिए।

वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के दौरान विशिष्ट सचिव श्री महेश शर्मा, मुख्य अभियंता श्री सीएम चौहान, श्री आईडी खान, श्री डीएम जैन, श्री बनेसिंह, वित्तीय सलाहकार श्री मोहन सिंह सहित उच्चाधिकारी उपस्थित रहे।

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