अजमेर 19 मई। न्याय आपके द्वार के न्यारा शिविर में लगभग 60 वर्षीय पोलू कुम्हार के भाग्य का छींका टूटा और उसके दादा लादू के नाम की जमीन सीधे उसके नाम राजस्व रेकार्ड में दर्ज कर दी गई।
लादू पुत्र चौथू कुम्हार की मृत्यु के पश्चात उसकी पत्नी गलकू व दो पुत्र रामकरण तथा रामचन्द्र की मृत्यु भी पूर्व में हो गई । परिवार में एक मात्र पोलू पुत्र रामकरण ही बचा जिसके पक्ष में विरासत दर्ज कर जमीन चढायी गई परन्तु एक कुआं राजस्व रेकार्ड में इन्द्राज होने से रह गया। पोलू के प्रार्थना पत्र पर आज शिविर में कुएं की जमीन जो उसके दादा लादू के नाम चल रही थी का भी इन्द्राज उसके नाम कर दिया गया।
