जनसमस्याओं का त्वरित गति से निस्तारण किया जाए – श्रीमत पाण्ड़े

zzअजमेर, 30 मई। डिस्काॅम्स अध्यक्ष श्री श्रीमत पाण्डे ने अधिकारियों को निर्देश दिए है कि उदय योजना एवं मुख्यमंत्राी विद्युत सुधार योजना के अन्तर्गत विद्युत उपभोक्ताओं की समस्याओं का त्वरित गति से निस्तारण किया जाए।
डिस्काॅम्स अध्यक्ष मंगलवार को अजमेर में पंचशील स्थित काॅरपोरेट कार्यालय सभागार में आयोजित निगम के वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे।
बैठक में अध्यक्ष डिस्काॅम्स ने सभी अधिकारियों से उदय योजना के तहत चल रहे फीडर रिनोवेशन प्रोग्राम के तीनों चरणों में किए गए कार्यो की जानकारी ली। उन्होने निर्देश दिए कि मुख्यमंत्राी विद्युत सुधार योजना के तहत किए जा रहे कार्यों में आने वाली जनसमस्याओं का समयबद्धता के साथ निस्तारण किया जाए। उन्होंने अधिकारियों को घरेलू/अघरेलू/औद्योगिक उपभोक्ताओं के लम्बित कनेक्शन तुरन्त करने, टेम्पर्ड मीटर वाले कनेक्शनों की सतर्कता जांच, खराब मीटर बदलने, राजस्व वसूली शत-प्रतिशत करने, 24 घंटे बेहतर विद्युत आपूर्ति देने, ट्रांसफार्मर जलने में कमी, एवरेज बिलिंग शून्य करने, स्पोर्ट बिलिंग अतिशीघ्र शुरू करने व छीजत कम करने के निर्देश दिए। गत बैठक में दिए गए सतर्कता जांच के लक्ष्यों की जानकारी ली गई। इसमें पिछलें पांच वर्षाें में की गई सतर्कता जांच का राजस्व निर्धारण कर वसूली करने के निर्देश दिए गए थे इस पर डिस्काॅम के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक श्री मुकेश सांखला ने बताया कि जयपुर/जोधपुर डिस्काॅम की तुलना में अजमेर डिस्काॅम में चोरी करने वाले उपभोक्ताओं की दर्ज एफआईआर में 20 उपभोक्ताओं की गिरफ्तारी की गई। सभी उपखण्डों की लम्बित जांच प्रतिवेदन का राजस्व निर्धारण करने की जिम्मेदारी सभी प्रावैधिक सहायक-अधीक्षण अभियंता को दी गई। वे लम्बित वीसीआर का राजस्व निर्धारण कर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सतर्कता को इसकी जानकारी देंगे। उन्होंने सतर्कता जांच में जिन उपभोक्ता को पांच लाख रूपए से ज्यादा राजस्व निर्धारण किया गया है उनकी वसूली शीघ्र करने के निर्देश दिए। सभी फीडर इंचार्जो को समय पर रीडिंग लाने, राजस्व वसूली करने, सतर्कता जांच करने, बंद/खराब मीटर अतिशीघ्र बदलने, ट्रांसफार्मर जलने में कमी करने, विद्युत छीजत में कमी करने पर उन्हें प्रोत्साहन राशि दिए जाने के लिए सभी अधीक्षण अभियंताओं को निर्देश दिए।
बैठक में अध्यक्ष डिस्काॅम्स ने उपनिदेशक कार्मिक श्री आर. के. अरोडा को निर्देश दिए कि सभी लम्बित पदोन्नतियाँ (तकनीकी कर्मचारी/कनिष्ठ/वरिष्ठ लिपिक) शीघ्र की जाए।
प्रबंध निदेशक श्री एम. आर. विशनोई ने निर्देश दिए कि उदय योजना के अन्तर्गत चल रहे लोड रिडक्शन प्रोग्राम के तहत किए जा रहे कार्याे को समय पर पूर्ण करें, जिन वृत्तों में कार्य धीमी गति से चल रहे है/ कार्य में लापरवाही बरती जा रही है उन वृत्तों के अधीक्षण अभियंताओं को सख्त हिदायत दी की वे अपने कार्य करने की गति में सुधार लाए अन्यथा परिणाम भुगतने होंगे। फीडर रीनोवेशन प्रोग्राम में प्रथम व द्वितीय चरण में अधूरे पडे फीडरों का सभी अधीक्षण अभियंताओं को लक्ष्य दिया गया कि वे दिए गए लक्ष्यों के आधार पर 15 जून, 2017 तक फीडरों का कार्य, फीडरों के नाम सहित पूर्ण कर रिपोर्ट प्रेषित करें। इसकी उच्च अधिकारियों द्वारा जांच की जाएगी। उन्होंने कहा कि इस कार्य को पूर्ण करने में यदि स्टाफ व सामान की कमी आती है तो पूर्ण किया जाएगा। उन्होंने निर्देश दिए कि उपखण्डों में कार्यरत तकनीकी सहायक जो मंत्रालयिक कर्मचारियों का कार्य कर रहे है उन्हें तुरन्त प्रभाव से हटाने व उनके स्थान पर भूतपूर्व सैनिक, सेवानिवृत्त कर्मचारी को लगाया जाए।
बैठक में प्रबंध निदेशक ने निर्देश दिए कि जिन वृत्तों में 2 माह से अधिक खराब /बंद मीटर है उन्हें तुरन्त बदला जाए व 2 माह से कम अवधि में जिन उपखण्डों में मीटर खराब / बंद की संख्या में बढोतरी हुई है उन उपखण्डों के अधीक्षण अभियंताओ को कारण बताओ नोटिस जारी किए जाए। मुख्यमंत्राी ग्रामीण घरेलू कनेक्शन योजना के आवेदक जिनके मांग पत्रा जमा है उन्हें शीघ्र कनेक्शन करने, सभी कृषि उपभोक्ताओं जिनके मांग पत्रा जमा है उन्हें प्राथमिकता के अनुसार शीघ्र कनेक्शन दिए जाए। सभी लम्बित बीपीएल/एपीएल/कृषि कनेक्शन शीघ्र करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि डिस्काॅम में बढती आमजन की घातक दुर्घटनाओं पर दिए जाने वाले मुआवजे पर गहरी नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने सभी अधीक्षण अभियंताओं को पाबंद किया कि उनके वृत्तों में होने वाली घातक दुर्घटनाओं की जांच कर कार्मिक अधिकारी को रिपोर्ट प्रेषित की जाए, मौके पर जाकर वास्तविक जांच की जाए। अधूरी व असत्य जांच करके जो रिपोर्ट निगम के अधिवक्ता को भेजी जाती है उसमें सम्पूर्ण जानकारी नहीं होने के कारण घातक दुर्घटना का वाद निगम के पक्ष में न होकर आमजन के पक्ष में न्यायालय द्वारा निर्णय दे दिया जाता है जिसके कारण आमजन को मुआवजा देने में निगम को करोडों रूपए की हानि होती है।
बैठक में निदेशक (तकनीकी) श्री के. पी. वर्मा, निदेशक (वित्त) श्री एस.एम. माथुर, संभागीय मुख्य अभियंता श्री एम. बी. पालीवाल (अजमेर जोन), श्री एन. एस. सहवाल (उदयपुर जोन), श्री बी. एम. भामू (झुंझुनूं जोन), मुख्य अभियंता श्री बी. एस. रत्नू (आईटी/एमएम/टीडब्ल्यू/एम एण्ड पी), अति. मुख्य अभियंता श्री वी.एस. भाटी (प्रोजेक्ट), श्री एच. एस. मीणा (मुख्यालय), अति. पुलिस अधीक्षक (सतर्कता) श्री मुकेश सांखला, मुख्य लेखाधिकारी श्री बी. एल. शर्मा (एटीबी), श्री एम. के. जैन (ईटीबी), श्री एम. के. गोयल (आॅडिट), कम्पनी सचिव श्रीमती नेहा शर्मा, टी ए टू एमडी श्री मुकेश बाल्दी सहित समस्त अधीक्षण अभियंता/प्रावैधिक सहायक अधीक्षण अभियंता एवं संबंधित अधिकारीगण उपस्थित थे।

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