नरेंद्र मोदी के संसदीय दल का नेता चुने जाने के बाद लालकृष्ण आडवाणी ने उनकी खूब तारीफ की। आडवाणी ने कहा, ‘जब देश आजाद हुआ तो आंखों में आंसू आए, इमरजेंसी में भी ऐसा ही हुआ। आज नरेंद्र भाई का स्वागत करते भी ऐसा ही हुआ। जीत के ऐसे ऐतिहासिक पल दिखाकर नरेंद्र भाई ने कृपा की।’ मोदी ने नेता चुने जाने के लिए धन्यवाद करते हुए अपने भाषण में आडवाणी के उन शब्दों का जिक्र किया, जिसमें उन्होंने कहा था कि ”जीत के ऐसे ऐतिहासिक पल दिखाकर नरेंद्र भाई ने कृपा की”। भावुक मोदी ने कहा कि उनकी प्रार्थना है कि आडवाणी जी ऐसे शब्दों का प्रयोग न करें। यह कहने के बाद वह कुछ क्षण के लिए बोल नहीं पाए। उन्होंने पानी मांगा। पानी पीने के बाद उन्होंने खुद को संभाला और दोबारा भाषण शुरू किया। उन्होंने कहा, ‘ जैसे भारत मेरी मां, वैसे ही पार्टी भी मेरी मां और मां की सेवा कृपा नहीं होती।’ ज्ञात हो कि मोदी को चुनाव समिति के अध्यक्ष से लेकर प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाए जाने तक सबसे ज्यादा विरोध आडवाणी ने ही किया था।
पार्लियामेंट के सेंट्रल हॉल में हुई बीजेपी संसदीय दल की बैठक में लालकृष्ण आडवाणी ने संसदीय दल के नेता के रूप में नरेंद्र मोदी के नाम का प्रस्ताव रखा। मुरली मनोहर जोशी, वेंकैया नायडू ने इसका अनुमोदन किया। इसके साथ ही मोदी को संसदीय दल का नेता चुने जाने की औपचारिकता पूरी हो गई। भाजपा संसदीय दल की बैठक के बाद एनडीए संसदीय दल में भी मोदी को नेता चुने जाने की औपचारिकता पूरी हो गई। बाद में एनडीए नेताओं ने राष्ट्रपति से भी मुलाकात की। इसके बाद मोदी ने भी राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी से राष्ट्रपति भवन में मुलाकात की। मोदी ने नेता चुने जाने के लिए धन्यवाद करते हुए अपने भाषण में कहा, ‘आज अटल जी की सेहत ठीक होती और उनका आशीर्वाद पार्लियामेंट के सेंट्रल हॉल में मिलता तो सोने में सुहागा होता।’ अटल को याद करके भावुक हुए मोदी ने आगे कहा, ‘यह देश के शक्तिशाली लोकतंत्र का नतीजा है, जिसकी वजह से मेरे जैसी गरीब पृष्ठभूमि का शख्स यहां तक पहुंच पाया।’