ब्यावर, 28 जनवरी। मुख्यमंत्राी श्रीमती वसुन्धरा राजे के प्रभावी नेतृत्व व दूरगामी सोच के फलस्वरूप प्रदेश में मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान का शुभारम्भ 27 जनवरी 2016 को किया गया जिसके माध्यम से प्रदेश में जल की बूंद-बूंद का संरक्षण व संग्रहण किया जाएगा। इस अभियान की शुरूआत से पूर्व प्रथम चरण में चयनित प्रदेश के 3529 गांवों में जागरूकता रथ के माध्यम से जल जागृति का संदेश दिया गया जिसेे जन-जन ने स्वीकार किया।
प्रदेश में वर्षा जल की अल्पता व भूजल के स्तर में कमी से कई गांव प्रभावित रहे हैं ऐसे में मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान गांवों में जलसंकट को दूर करने में संजीवनी साबित होगा। इस अभियान के तहत गांवों में जल संरक्षण व संग्रहण के लिए कई कार्य प्रारम्भ किये गए है जिसे अपार जनसमर्थन मिल रहा है। इसी क्रम में अजमेर जिले की 43 ग्राम पंचायतों के 108 गांवों में भी मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान के तहत जनसहयोग व जन सहभागिता से जल संरक्षण हेतु कार्य प्रारम्भ किये गए हैं। जिसमें उपखण्ड ब्यावर की जवाजा पंचायत समिति की 8 ग्राम पंचायतों के 27 गांव भी शामिल हैं।
उपखण्ड अधिकारी श्री आशीष गुप्ता ने बताया कि मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान की 27 जनवरी 2016 को विधिवत शुभारम्भ के साथ ही जवाजा पंचायत समिति की अभियान के तहत चयनित ग्राम पंचायतों में नाडी निर्माण, तालाबों व बावडि़यों की सफाई एवं पुनरूद्धार, एनीकट निर्माण, खेत तलाई एवं मिनी परकोलेशन टैंक आदि जल संरक्षण के कार्य प्रारम्भ किये गए हैं। उन्होंने बताया कि जल संरक्षण संबंधी कार्याें से गांवों में भूजल व सतही जल के स्तर में वृद्धि होगी जिससे भविष्य में पेयजल व सिंचाई संबंधी समस्याओं का निस्तारण किया जा सकेगा।
अभियान के उद्देश्य
मुख्यमंत्राी जल स्वावलंबन अभियान का उद्देेश्य जलग्रहण क्षेत्रा, कलस्टर,इंडेक्स कैचमेन्ट को इकाई मानते हुए प्राकृतिक संसाधन प्रबन्धन, गांव को जल आत्मनिर्भर बनाकर पेेयजल का स्थायी समाधान करना, ग्रामीण क्षेत्रों में प्राकृतिक रूप से प्राप्त जल प्रवाह (वर्षा जल, सतही जल, भूगर्भीय जल व मिट्टी की नमी) को जलभराव क्षेेत्रों की क्षमता को विकसित कर रोकना, भूजल स्तर में वृद्धि करना, भूजल की गुणवत्ता में सुधार करना, ग्राम को जल संग्रहण एवं संरक्षण कर सिंचाई क्षेत्राफल को बढ़ाना एवं ग्रामीणों को जल के समुचित उपयोग के बारे में जागृत कर जनसहभागिता से कार्य सम्पादित करवाए जाएंगे।
इस अभियान के तहत चयनित गांव में जल की मांग का आंकलन किया जाएगा एवं गांव में उपलब्ध जल का आंकलन कर गांव में जल की कमी के लिए नये जलसंग्रहण ढांचे एवं अन्य उपाय प्रस्तावित किये जाएंगे। इस अभियान के लिए योजना ग्रामवासियों के साथ मिलकर तैयार की जाएगी एवं जीपीएस व उपग्रह से प्राप्त चित्रों की मदद भी ली जाएगी।
ये 27 गांव प्रथम चरण में शामिल
मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान के तहत प्रथम चरण में जवाजा पंचायत समिति की 8 ग्राम पंचायतों के 27 गांव शामिल है। जिसके तहत रूपनगर, चैड़ा नीमड़ी, जौहरखेड़ा, रेलमालकल्ला, फतेहगढ़ सल्ला, ब्यावरखास, हरराजपुरा, सराधना, गोपालपुरा, भगवानपुरा, नून्द्री मेन्द्रातान, डूंगरखेड़ा, रतनपुरा सरदारा, नून्द्री मालदेव, गणेशपुरा, गोविन्दपुरा, शिवनाथपुरा, देलवाड़ा, शेषपुरा, दौलतपुरा-बलाईयान, बलाड, गढ़ीथोरियान, सैमला, रामगढ़ झूंठा, मेडि़या, रामपुरा मेवातिया एवं ठीकराना मेन्द्रातान में जलसंरक्षणव जलसंग्रहण संबंधी विविध कार्य करवाये जाएंगे।
ये कार्य करवाए जा रहे हैं
सहायक अभियंता जलग्रहण श्री शलभ टण्डन ने बताया कि मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान के तहत जवाजा पंचायत समिति की चयनित 8 ग्राम पंचायतों के 27 गांवों में जल संरक्षण संबंधी विभिन्न कार्य प्रारम्भ किये गए हैं।
ग्राम पंचायत रूपनगर में नया तालाब के ऊपर की तरफ चारागाह क्षेत्रा में निचली व ऊपरी नाडी का सुदृढ़ीकरण करना, ग्राम चैड़ा नीमड़ी में मिनी परकोलेशन टैंक, फतहगढ़ सल्ला में चारागाह क्षेत्रा में मिनी परकोलेशन टैंक, गांव सराधना में चारागाह एवं सिवाईचक भूमि पर मिट्टी के बंध का निर्माण, ब्यावरखास में चारागाह भूमि पर नाडी निर्माण, भगवानपुरा में सरकारी भूमि पर मिट्टी के बंध का निर्माण, हरराजपुरा में चारागाह भूमि पर मिट्टी के बंध का निर्माण एवं मिनी परकोलेशन टैंक का कार्य, गोपालपुरा में नाडी भराव क्षमता बढ़ाने के लिए मिट्टी की खुदाई एवं मिनी परकोलेशन टैंक का कार्य, बलाड में चारागाह भूमि पर नाडी निर्माण व मिनी परकोलेशन टैंक का निर्माण, गढ़ी थोरियान में नाडी निर्माण का कार्य, सैमला में नाडी की खुदाई, रामपुरा मेवातियां में नाडी की क्षमता संवर्द्धन का कार्य, मेडि़या में मिनी परकोलेशन टैंक का कार्य, डूंगरखेड़ा में चारागाह भूमि पर नाडी निर्माण, देलवाड़ा में चारागाह क्षेत्रा में मिट्टी के बंध एवं मिनी परकोलेशन टैंक का कार्य किया जाएगा।
इसी प्रकार दौलतपुरा बलाईन में तालाब का कच्चा डंडा चै्रड़ा करने का कार्य, ठीकराना मेन्द्रातान में चारागाह भूमि पर मिट्टी के बंध एवं मिनी परकोलेशन टैंक का कार्य, नून्द्री मालदेव में नाडी की क्षमता संवर्द्धन व मरम्मत कार्य, मिनी परकोलेशन टैंक का कार्य, नया तालाब की नहरों का निर्माण एवं चारागाह क्षेत्रा में मिट्टी के बंध का निर्माण कार्य, गणेशपुरा में तालाब का सुदृढ़ीकरण का कार्य, शिवनाथपुरा में परबस्ती तालाब की क्षमता संवर्द्धन व मरम्मत का कार्य जनसहयोग व जनसहभागिता से किया जाएगा।
इसी क्रम में ब्यावर शहर में बजरबट्टू मंदिर बावड़ी की सफाई का कार्य जनसहयोग से किया जाएगा।
