अखिल भारतीय साहित्य एवम संस्कृति समन्वय समिति जावरा जिला रतलाम,संस्था का गठन

जावरा=साहित्य और संस्कृति के उन्नयन और विकास एवम सञ्चयन हितार्थ शब्द सिदिक्षा अखिल भारतीय साहित्य एवम संस्कृति समन्वय समिति जावरा जिला रतलाम,संस्था का गठन किया गया, इस संस्था का मुख्य उद्देश्य लोक हित होकर विश्व स्तर पर साहित्य एवम संस्कृति का प्रचार प्रसार करना है। संस्था के संस्थापक एवं संचालक श्री सतीश शिकारी, राष्ट्रीय अध्यक्ष गीतकार श्री मनोहर मधुकर, महिला अध्यक्ष श्रीमती रश्मि मिश्रा भोपाल, महा सचिव श्री दीपचंद गुप्ता फतेहपुर.अवसर था संस्था स्थापना का. *गीतकार श्री मनोहर सिंह चौहान मधुकर* के जन्म दिवस समारोह का सतीश शिकारी के निवास पर आयोजित किया गया।कार्यक्रम के आरंभ में मां सरस्वती जी के चरणों में शीश नमन दीप प्रज्वलन और पुष्प माला अर्पित कर पूजा अर्चना गीतकार मनोहर मधुकर द्वारा की गई।
इस अवसर पर वरिष्ठ साहित्यकार श्री रमेश मनोहरा, कवियत्री लक्ष्मी जोशी, डा विजय कुमार सिंह, राजेश धनोतिया, मधु शर्मा, श्री अभय कोठारी, स्वप्निल शिकारी, मिताली शिकारी,सुनीता शिकारी और सतीश शिकारी एवं स्निग्ध ने मनोहर मधुकर की शब्द से पुष्प से /पुष्प माला पहनाकर जन्मदिन की बधाई दी गई।
संस्था की स्थापना और श्री मनोहर मधुकर का जन्म दिवस पर साहित्य दीप की लो प्रज्वलित रखने हित साहित्यिक गोष्ठी हुई जिसमे श्री अभय कोठारी ने बच्चों के बीच में जाकर उन्हें साहित्य और संस्कृति से परिचित करने का आव्हान किया साथ ही इस आयोजन की भूरी भूरी प्रशंसा की गई ।साथ ही अगली कड़ी में काव्य गोष्ठी रखी गई जिसमे श्री राजेश धनोतिया राज ने सरस्वती वंदना कर काव्य गोष्ठी को गति प्रदान की इस अवसर पर डा विजय कुमार सिंह ने नेताजी सुभाष चन्द्र बोस को याद दिलाती एक सुंदर रचना का पाठ किया। कवियत्री लक्ष्मी जोशी ने जन्मदिन की बधाई देते हुए संवेदना शीर्षक से बहुत ही मोहक रचना प्रस्तुत कर वाह वाह पाई। पहली बार साहित्यिक आयोजन में उपस्थित हुई मधु शर्मा ने मीरा के जीवन से प्रेरित रचना अपने मीठे स्वर से सुनाकर खूब प्रसंशा पाई। सतीश शिकारी ने राधा और कृष्ण प्रेम से सराबोर धनाक्षरी,कह मुकरी सुनकर गोष्ठी को ऊंचाई प्रदान की तो श्री रमेश मनोहरा ने अपनी चुटीले व्यंग्य क्षणिका और दोहे से मंत्र मुग्ध किया।
कार्यक्रम के अंत में गीतकार मनोहर मधुकर ने अपने चिर परिचित अंदाज में श्रंगार के गीत प्रस्तुत कर गोष्ठी को सार्थकता प्रदान की।
आभार संस्था के संस्थापक एवं संचालक श्री सतीश शिकारी ने प्रकट किया।
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सतीश शिकारी
स. अध्यक्ष
अ भा साहित्य एवम संस्कृति समन्वय समिति
जावरा.

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