सीरिया में जारी गृह युद्ध का कोई समाधान नहीं निकलता दिख रहा है। हर गुजरते दिन के साथ शरणार्थियों की संख्या विकराल होती जा रही है। संयुक्त राष्ट्र (यूएन) के विश्व खाद्य कार्यक्रम (डब्ल्यूएफपी) ने मंगलवार को बताया कि सीरिया में 10 लाख लोगों के पास खाने का कोई प्रबंध नहीं बचा है।
डब्ल्यूएफपी की प्रवक्ता एलिजाबेथ बायर्स के मुताबिक, अब तक 25 लाख लोग सीरिया में शरणार्थियों जैसा जीवन गुजार रहे हैं। इस महीने डब्ल्यूएफपी केवल 15 लाख लोगों को खाना मुहैया करा पाएगी बाकी 10 लाख लोगों के लिए दुनिया को गंभीरता से सोचना होगा। एलिजाबेथ ने कहा कि सीरिया में सुरक्षा मुहैया नहीं हो पा रही है। सीरिया के पत्तनों की हालत भी खराब है। ऐसे में संभव है कि लाखों लोगों तक इस महीने मदद नहीं पहुंच पाएगी। रेडक्रॉस पहले ही अपनी क्षमताओं से ज्यादा हमारी मदद कर रहा है। अब उनसे भी कोई उम्मीद नहीं की जा सकती।
एलिजाबेथ ने कहा कि सीरिया के होम्स, अलेप्पो, टार्टस और कमिस्ले शहरों में खतरा बढ़ने के बाद हमें अपने कर्मचारियों को बाहर निकालना पड़ा। हालांकि, तुर्की की सीमा से सटे इलाकों में हम पूरी मदद पहुंचा रहे हैं। सीरिया संकट की शुरुआत मार्च, 2011 में शांतिपूर्ण प्रदर्शनों से हुई थी। इसके बाद यह घातक गृह युद्ध में तब्दील हो गया।
यूएन के अनुमान के मुताबिक, अब तक इस संघर्ष में 60 हजार लोग मारे जा चुके हैं। दमिश्क के बाहरी इलाकों में भीषण लड़ाई जारी बेरूत,सीरिया की राजधानी दमिश्क के बाहरी इलाकों और देश के उत्तर-पश्चिमी शहर मस्तूमा पर कब्जे के लिए राष्ट्रपति बशर अल असद समर्थक सेना और विद्रोही लड़ाकों के बीच भीषण संघर्ष जारी है। असद की सेना ने रॉकेट से विद्रोही लड़ाकों पर हमले किए हैं।
मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने बताया कि इन हमलों में कई लोग मारे गए हैं। हालांकि, अभी तक इसकी पुष्टि नहीं हुई। दोनों पक्ष अपने कब्जे वाले इलाकों में भीषण लड़ाई कर रहे हैं। कोई भी पक्ष कमजोर पड़ता नहीं दिख रहा है।