धार्मिक स्थलों को 7 सितम्बर से आमजन के लिए खोले जाने के लिए गाइडलाईन्स जारी

अजमेर, 2 सितम्बर। धार्मिक स्थलों को 7 सितम्बर से आमजन के लिए खोले जाने के लिए राज्य सरकार द्वारा गाइडलाईन्स जारी की गई है। जिला मजिस्ट्रेट ने इस संबंध में पुलिस अधीक्षक, अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट, उपखण्ड अधिकारियों एवं धार्मिक संस्थानों को गाइडलाईन की पालना सुनिश्चित करने के संबंध में निर्देश प्रदान किए।

जिला मजिस्ट्रेट श्री प्रकाश राजपुरोहित ने बताया कि कन्टेन्मेंट जोन एवं कफ्र्यू क्षेत्रों में स्थित धार्मिक स्थलों को खोले जाने की छूट अनुमत नहीं होगी। बड़े धार्मिक स्थल जहां स्थानीय निवासियों के साथ-साथ अन्य जिलों एवं अन्य राज्यों के व्यक्ति भी दशनार्थ एवं पूजा अर्चना हेतु आते है, उनको खोले जाने से पूर्व जिला कलक्टर, जिला पुलिस अधीक्षक एवं मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा संयुक्त रूप से निरीक्षण कर यह सुनिश्चित करेंगे कि कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव के लिए पर्याप्त सुरक्षात्मक उपाय धार्मिक स्थल प्रबंधन द्वारा कर लिए गए हैं।

उन्होंने बताया कि धार्मिक स्थलों में व्यक्तियों के प्रवेश में इस तरह अंतराल रखा जाए कि एक तरह अंतराल रखा जाए कि एक समय में पूजा स्थल के अन्दर व्यक्तियों की संख्या इस सीमा तक सीमित हो जाए कि प्रत्येक ऎसे व्यक्ति के बीच कम से कम 6 फीट की दूरी रह सके। मस्जिदों में अदा की जाने वाली नमाज के दौरान नमाजियों की संख्या उपलब्ध स्थान एवं सामाजिक दूरी को ध्यान में रखते हुए रखी जाए।

उन्होंने बताया कि धार्मिक स्थल के पुजारियों एवं दर्शनार्थियों द्वारा चेहरे पर फेस कवर पहनना अनिवार्य होगा। जो व्यक्ति चेहरे पर फेस कवर पहने नहीं होगा उसे प्रवेश नहीं दिया जाएगा। धार्मिक स्थलों के सभी प्रवेश और निकास बिन्दुओं और कॉमन स्थानों पर थर्मल स्केनिंग, हैंडवॉश और सेनेटाईजर का समुचित प्रबंधन किया जाएगा। धार्मिक स्थल के परिसर एवं इसमें स्थापित की गई आम सुविधाओं और मानव सम्पर्क में आने वाले सभी बिन्दुओं जैसे फर्श, स्टील रेलिंग एवं दरवाजे के हैण्डल आदि का बार-बार सेनेटाईजेशन किया जाना अनिवार्य होगा। धार्मिक स्थल में फूल माला, प्रसाद, अन्य पूजा सामग्री ले जाने एवं घंटी बजाने पर प्रतिबंध रहेगा।

उन्होंने बताया कि बडे धार्मिक स्थलों में विशेष दिनों में दर्शनार्थियों की भीड नहीं जुटे और सोशल डिस्टेंसिंग की पालना सुनिश्चित की जाए। धार्मिक गतिविधियों को ऑनलाईन देखने हेतु प्रोत्साहित किया जाए एवं इसके लिए जनचेतना एवं प्रचार प्रसार किया जाना सुनिश्चित किया जाए। कोरोना संक्रमण को देखते हुए जहां तक संभव हो पूजा, उपासना, प्रार्थना और नमाज घर पर रहकर ही करने हेतु प्रोत्साहित किया जाए ताकि धार्मिक स्थलों पर भीड नहीं जुटे। धार्मिक स्थलों को खोले जाने का तात्पर्य धार्मिक आयोजनों या धार्मिक जुलूसों की अनुमति बिल्कुल नहीं है। धार्मिक आयोजनों, धार्मिक जुलूसों पर लगाए गए प्रतिबन्ध निरंतर जारी रहेंगे।

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