तीन भुवन में श्रेष्ठ *सत्य धर्म* ही पूज्य है- आराध्यजी शास्त्री

अजमेर, 12 सितंबर। दसलक्षण महापर्व के शुभ अवसर पर 1008 श्री शांतिनाथ दिगंबर जैन जिनालय, सर्वोदय कॉलोनी में प्रतिदिन प्रातः से ही जिनाभिषेक, शांतिधारा दसलक्षण मंडल विधान एवं तत्वार्थ सूत्र का वाचन एवं व्याख्या का कार्यक्रम श्रमण संस्कृति संस्थान जयपुर से आराध्यजी शास्त्री द्वारा बड़े भक्ति भाव से कराया जा रहा है। दसलक्षण धर्म के मर्म समझाते हुए शास्त्री जी ने आज ‘सत्य धर्म’ के लिए कहा की यह तीन भुवन में श्रेष्ठ व पूज्य है। इसे ही अन्तर में धारण करना चाहिए।

मंत्री विनय गदिया ने बताया कि दोपहर में रत्नकरणड श्रावकाचार का स्वाध्याय एवं सायंकाल में आरती, भक्तामर पाठ, प्रतिक्रमण, प्रवचन एवं धार्मिक एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम में लाडू सजाओ प्रतियोगिता, धार्मिक क्रिकेट प्रतियोगिता, प्रश्नावलियां ज्ञान गंगा आदि कराए जा रहे हैं। मंदिर जी में प्रतिदिन श्रावक श्रेष्ठिवर्ग द्वारा शांतिधारा कराई जा रही है एवं तपस्वियों द्वारा व्रत उपवास आदि किए जा रहे हैं। गुरुवार को पंचमेरू के पांच उपवास पूर्ण होने पर मंदिरजी में श्रीमती अनीता गंगवाल एवं श्रीमती रेणु पाटनी द्वारा तालोडी चढ़ाई गई तथा तपस्वियों के पुण्य की अनुमोदना करते हुए विनतियों का कार्यक्रम किया।

अनिल कुमार जैन
श्री शांतिनाथ दिंगबर जैन जिनालय समिति, अजमेर
संपर्क – 9829215242

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