लेकिन विचार करने वाली और सोचने वाली बात यह हे की उक्त परिसर में क्या एक ही दूकान अवेध हे और स्कुल के पिपलिया बाज़ार साइड में नाले के ऊपर चबूतरी पे बनी दुकाने सभी वैध हे ? क्या इनपे भी कार्यवाही नहीं होनी चाहिए ? उक्त निर्मित दुकाने पे व्यापार करने वाले दिन भर कितना अतिक्रमण करते हे और उनके द्वारा कितना रोड जाम किया जाता हे । प्याऊ के पास दूकान दार ने तो प्याऊ की आड़ में पूरी सडक पे कब्जा कर रखा हे वहा पे गैस भट्टी और गर्म तेल की कडाही सडक के मोड़ पे रखी हे जिस कारण कभी भी बड़ी दुर्घटना हो सकती हे ।उसके सामने राठी अस्पताल के बहार भी दोनों साइड में गर्म तेल की कडाही लिए हुए नमकीन के ठेले दिन भर खड़े रहते हे जिस कारण मार्ग बिलकुल संकरा हो जाता हे और उनके ग्राहकों द्वारा सडक पे आड़े तिरछे वाहनों को खडा कर दिया जाता हे जिस कारण दिन में 20/30 बार जाम की स्थिति बन जाती हे ।
उक्त रोड से वाहन निकालना एक समस्या से कम नहीं और किसी ने अगर व्यापारियों को टोक भी दिया तो झगडा करने को तेयार रहते हे ।
नगर परिषद की नजर उक्त दुकानो पे क्यों नहीं पड़ी क्या हे ? क्या हे इसका कारण ?
हेमेन्द्र सोनी @ BDN ब्यावर
