प्रतिदिन सुबह उठकर योग व व्यायाम करने से हमारे मन – मस्तिष्क में नई ऊर्जा का संचार होता है ,जो हमे दिनभर कार्य करने के लिए संजीवनी का कार्य करती है। स्वस्थ शरीर में ही स्वस्थ मस्तिष्क का विकास होता है। पूरा विश्व योग को अपनाने लगा है तथा इसको करने से कई प्रकार के रोगो का निवारण भी होने लगा है। अब यह पूर्णतय साबित हो गया है कि योग से मधुमेह, उच्च -रक्तचाप आदि कई बीमारियों के निवारण में अच्छे परिणाम आने लगे है। सूर्य नमस्कार, प्राणायाम, अनुलोम – विलोम आदि कई योग के प्रकार बड़े – बड़े शहरो में भी प्रचिलित है। बड़े – बड़े उद्योगपति,कई फिल्मी जगत की हस्तियो,कॉरपोरेट जगत,पेशेवर लोग व ग्रहणियो ने भी योग को अपनी दिनचर्या में अपना रखा है। ”योग भगाये रोग“ प्रतिदिन कुछ समय योग के लिए अवश्य निकाले।
”जैसा खाये अन्न वैसा रहे मन“ शाहाकार को अपनाकर कई प्रसि( व्यक्तियो ने इस कहावत को चरितार्थ किया है। वास्तव मे जो हम भोजन खाते है या जिस वातावरण मे हमारा भोजन पकता है उसका हमारे मन – मस्तिष्क पर विशेष प्रभाव पड़ता है। शाहाकारी भोजन से हमे प्रचुर मात्रा मे प्रोटीन, विटामिन्स तथा अन्य आवश्यक तत्व प्राप्त होते है। हमारे )षि मुनियो का भोजन शु( शाहाकारी होता था, तो वे पूर्णतयाः स्वस्थ व दीर्घ आयु होते थे, उनके चेहरे पर एक अलग ही तेज दिखाई देता था। तो क्यो ना हम सभी शाहाकार को अपनाकर अपने जीवन को स्वस्थ व मन को सुदंृढ़ बनाये ।
संगति का असर मनुष्य के जीवन में सबसे अधिक पड़ता है। जो व्यक्ति जीवन मे सत्संग को अपनाता है, वह सदैव सफलता के मार्ग पर अग्रसर होता है। सत्संग से कई प्रकार के भम्र एवं भ्रातियां दूर होती है और ज्ञान के नये द्वार खुल जाते है, जो व्यक्ति के जीवन मे सदैव प्रकाश का संचार करते है। सत्संग में अच्छे विचार बु(ि को बल व मन को साहस दिलाते है। परम पिता परमेश्वर के प्रति आसक्ति और मानव -मात्र के सेवा के विचार भी सत्संग से ही आते है सादगी रुपी आचरण को अपनाकर व्यक्ति अपने जीवन के मूल्यो को सार्थक बना सकता है । सत्संग के लिए यह गीत उपयुक्त है – ”हमको मन की शक्ति देना मन विजय करे, दूसरो की जय से पहले खुद की जय करे“ आइए आज हम सभी यह संकल्प ले कि योग, शाहाकार व सत्संग को अपने जीवन मे एक विशेष स्थान देगे।
मै और मेरी पत्नी पिछले कई वर्षो से योग, शाहाकार और सत्संग को अपनाकर एक आत्मिक शांति महसूस कर रहे है और आप सब को भी इसे अपनाने की सलाह देते है।
-बलराम हलरानी
लेखक एक सफल व्यवसायी, कृषि उपज मंडी के डायरेक्टर, समाज सेवी, पूर्व छात्र सेंट ऐन्सलमस अजमेर हैं।