कार्टूनिस्ट असीम त्रिवेदी जेल से रिहा

युवा कार्टूनिस्ट असीम त्रिवेदी दो दिन मुंबई की आर्थर जेल में रहने के बाद बुधवार को रिहा हो गए। हाई कोर्ट ने मंगलवार को असीम को जमानत दे दी थी।

जेल से रिहा होने के बाद अन्ना समर्थक और इंडिया अगेंस्ट करप्शन से जुड़े असीम ने कहा कि उन्होंने देश में अभिव्यक्ति की आजादी है और उन्होंने देशप्रेम के चलते ही कार्टून बनाया है। उन्होंने यह भी कहा कि अब जेल से रिहा होने के बाद करप्शन के खिलाफ संघर्ष और भी तेज होगा।वहीं, उन्होंने महाराष्ट्र सरकार से पूछा कि उन पर देशद्रोह क्यों लगाया गया। हाई कोर्ट और गृह मंत्रालय देशद्रोह के आरोपों को गलत बता रहे हैं।

गौरतलब है कि राष्ट्रीय प्रतीक अशोक चक्र पर भ्रष्टमेव जयते लिखे हुए उनके विवादित कार्टून के चलते शनिवार को उन्हें अरेस्ट किया गया था और उनपर देशद्रोह और आईटी ऐक्ट के तहत आरोप लगाए गए थे। सोमवार को असीम त्रिवेदी के जमानत नकारने और मुंबई पुलिस द्वारा हिरासत न मांगे जाने के बाद कोर्ट ने असीम को 24 सितंबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया था।

मंगलवार को मुंबई के एक वकील संस्कार मराठे ने हाई कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर करके असीम त्रिवेदी की गिरफ्तारी और उसके खिलाफ लगाए गए देशद्रोह के आरोप को चुनौती दी। इसकी सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायाधीश मोहित शाह और न्यायमूर्ति नितिन जामदार की बेंच ने पुलिस को एक घंटे के भीतर असीम त्रिवेदी को हिरासत में रखने की जरूरत बताने को कहा। एक घंटे बाद हाई कोर्ट ने जमानत पर असीम की रिहाई का आदेश जारी कर दिया।

बॉम्बे हाई कोर्ट ने असीम को 5000 रुपये के निजी मुचलके पर जमानत पर रिहा करने का आदेश जारी किया। असीम अड़े हुए थे कि जब तक उन पर से देशद्रोह का आरोप नहीं हटाया जाएगा, तब तक वह जेल से बाहर नहीं आएंगे। वहीं, मंगलावर को आर्थर रोड जेल में असीम से मुलाकात कर आए सोशल ऐक्टिविस्ट अरविंद केजरीवाल ने भी कहा था कि अगर असीम पर से देशद्रोह का आरोप नहीं हटाया गया तो शनिवार से आर्थर रोड जेल के बाहर धरना देंगे।

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