*’मिस राजस्थान’ रही पूनम ऑस्ट्रेलिया में बहुत मिस करती हैं राजस्थान का सौंदर्य*

21 अप्रैल, 2024 / एडिलेड (ऑस्ट्रेलिया)। सौंदर्य को सीमाओं में नहीं बांधा जा सकता, वह तो सीमाओं के पार जाकर भी अपनी रंगत बिखेरता है। सौंदर्य के समाजशास्त्र की इसी सच्चाई को पूनम कुमावत ने बचपन में ही समझ लिया था। इसलिए पूनम जयपुर की गुलाबियत और राजस्थान की रंगीनियों से दूर हमारे हिंदुस्तान से हजारों किलोमीटर दूर अनजान देश ऑस्ट्रेलिया में राजस्थान के सौंदर्य की चमक बिखेर रही हैं। ‘मिस राजस्थान’ रही पूनम कुमावत लगभग दो दशक से ऑस्ट्रेलिया में हैं, मगर राजस्थान को हमेशा दिल में बसाए रखती है और राजस्थान और खासकर जयपुर को बहुत मिस करती हैं।
पूनम खूबसूरत हैं, खूबसूरत रही हैं और खूबसूरत बने रहना चाहती हैं। इसलिए खुश रहती हैं। वह कहती हैं कि खूबसूरती से खुशी का सीधा रिश्ता है। अगर आप खुश नहीं है तो खूबसूरत कभी नहीं हो सकते। एडिलेड शहर में राजनीतिक विशेषज्ञ निरंजन परिहार से जब पूनम मिली, तो राजस्थान को याद करते हुए उनके चेहरे पर जयपुर की गुलाबी चमक जबरदस्त खिल रही थी। उनका कहना है कि राजस्थान मेरे दिल में बसा है और जयपुर जहां जन्मी, पली, बड़ी और पढ़ी, उस गुलाबी शहर की गुलाबी खूबसूरती उनकी आंखों में तैरती रहती है। जयपुर में रविन्द्र मंच पर पूनम ने जब ‘मिस राजस्थान’ का खिताब जीता था, तब उस आयोजन में कई बड़ी हस्तियां मौजूद थीं, और पूनम कुमावत को खुद ऑस्ट्रेलिया के एडिलेड शहर के जाने माने भारतीयों  में गिनी जाती हैं।
‘मिस राजस्थान’ का खिताब पूनम को 1995 में मिला था, लेकिन 30 साल बाद भी सौंदर्य ने उनका और उन्होंने सौंदर्य का साथ नहीं छोड़ा है। उल्टे उम्र बढ़ने के साथ सौंदर्य और निखर रहा है।  राजनीतिक विश्लेषक निरंजन परिहार से बात करते हुए पूनम ने कहा कि राजस्थान का सौंदर्य भी अपने आप में बहुत अनोखा है। पूनम कहती हैं कि राजस्थान के रेगिस्तान, पहाड़, और झीलें एक अद्वितीय प्राकृतिक सौंदर्य को रचते हैं और यहां की संस्कृति, रीति-रिवाज, और त्यौहार एक सामूहिक रंगीन और जीवंत वातावरण प्रस्तुत करते हैं। सौंदर्य पर अपने विचार व्यक्त करते हुए ‘मिस राजस्थान – 1995’  पूनम कुमावत कहती हैं कि सौंदर्य सिर्फ शरीर का ही नहीं, बल्कि मन का, भावनाओं का, कृतत्व का तथा चरित्र का सौंदर्य मनुष्य के व्यक्तित्व को गढ़ता है।
जयपुर की पूनम कुमावत ऑस्ट्रेलिया में सौंदर्य सलाहकार के रूप में विख्यात है। वह पहले ऑस्ट्रेलिया में सौंदर्य संवारने का काम करती थी। लेकिन अब वह सामाजिक जीवन संवारने की जुगत में जुटी है। प्राकृतिक सौंदर्य से भरपूर ऑस्ट्रेलिया में रहने के बावजूद पूनम राजस्थान के सौंदर्य को बहुत याद करती है। उनका कहना है कि राजस्थान के प्राकृतिक सौंदर्य की आभा और वहां के लोगों की सादगी एवं सरलता की खूबसूरती की दुनिया में कोई तुलना नहीं है। पूनम कहती हैं कि जयपुर और राजस्थान का सौंदर्य हर किसी को प्रेरित करता है। विदेश में रहने के बावजूद जयपुर की गुलाबी इमारतों, हवेलियों, और किलों की यादों को अपने भीतर  समेटे हुए पूनम वहां की चौड़ी सड़कें, व्यस्त बाजारों और छोटी – बड़ी चौपड़ के रंगीन और जीवंत वातावरण को हर पल याद करती हैं।

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