नई दिल्ली, मई, 2025- ग्राहक अनुभव और डेटा मोनेटाइजेशन सॉल्यूशंस के क्षेत्र में विश्व की अग्रणी कंपनी कॉमवीवा ने युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन, दिल्ली के साथ एक रणनीतिक सहमति पत्र (एमओयू) पर हस्ताक्षर किया है। नवप्रवर्तन को बढ़ावा देने, साझीदारी का पारितंत्र तैयार करने और भविष्य के कार्यबल को सशक्त करने के अपने कॉमवीवा 2.0 विजन के साथ यह गठबंधन उद्योग-अकादमिक संबंधों को मजबूती देने और डिजिटल प्रतिभा की अगली पीढ़ी की एक जबरदस्त पाइपलाइन तैयार करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।
इस साझीदारी के जरिए, कॉमवीवा और युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन दिल्ली का लक्ष्य प्रतिभा विकास, सामूहिक नवप्रवर्तन और समुदाय पर प्रभाव पर केंद्रित रणनीतिक पहल विकसित करना है। इससे युनिवर्सिटी के दिल्ली कैंपस में विद्यार्थियों के लिए सीखने के समृद्ध अवसरों का सृजन होगा जिससे वे अत्याधुनिक डिजिटल टेक्नोलॉजीज़ और वास्तविक दुनिया की कारोबारी चुनौतियों पर काम कर सकेंगे।
इस समझौते के तहत कॉमवीवा पूरे अकादमिक वर्ष के दौरान सुगठित कार्यक्रमों की एक सीरीज चलाएगी जिसमें विद्यार्थियों के साथ संवाद के लिए ड्रॉप इन सेशन, उद्योग के रुख और करियर के मार्गों को लेकर नियोक्ता द्वारा अंतर्दृष्टि साझा करना और विद्यार्थियों की व्यवहारिक क्षमता बढ़ाने के लिए कौशल विकास कार्यशालाओं का आयोजन शामिल है।
युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन ने अपना भारतीय कैंपस गुड़गांव में इंटरनेशनल टेक पार्क में स्थापित किया है जहां अगस्त में विद्यार्थियों का पहला समूह पढ़ाई शुरू करने जा रहा है। इस पहल के साथ युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन, इस देश की नई उच्च शिक्षा रूपरेखा के तहत कैंपस स्थापित करने वाली पहली युनिवर्सिटी बन गई है।
प्रारंभिक दौर में बिजनेस, कंप्यूटिंग, इकोनॉमिक्स और फाइनेंस में स्नातक और स्नातकोत्तर डिग्रियों की पेशकश की जाएगी और आने वाले वर्षों में पाठ्यक्रम पेशकश का विस्तार कर इसमें इंजीनियरिंग, हेल्थकेयर, आर्ट एवं डिजाइन, सोशल साइंस और साइंस एवं टेक्नोलॉजी को शामिल किया जाएगा।
कॉमवीवा के साथ इस साझीदारी को इंडिया बिजनेस ग्रुप ने सुगम बनाया जोकि एक अग्रणी रणनीतिक परामर्श समूह है और युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन को इसके भारतीय कैंपस के लिए भागीदारों के साथ जोड़ने में सहयोग करता रहा है।
इस साझीदारी को लेकर कॉमवीवा के सीईओ राजेश चंडीरमणि ने कहा, “कॉमवीवा में हमारा मानना है कि डिजिटल नवप्रवर्तन का भविष्य ऐसी सार्थक साझीदारी के निर्माण में निहित है जो अकादमिक और उद्योग के बीच अंतर को पाट सके। युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन के साथ यह गठबंधन, भविष्य के लिए प्रतिभा को पोषित करने, नवप्रवर्तन की संस्कृति को बढ़ावा देने और समावेशी वृद्धि में सहयोग करने की हमारी प्रतिबद्धता परिलक्षित करता है। यह युवाओं को सशक्त करने और वास्तविक दुनिया की चुनौतियों से निपटने के लिए सॉल्यूशंस का मिलकर निर्माण करने के हमारे कॉमवीवा 2.0 विजन का एक महत्वपूर्ण स्तंभ है। प्रतिभा विकास से परे यह साझीदारी, साथ मिलकर अनुसंधान एवं विकास करने, क्षमता निर्माण करने और समुदाय केंद्रित कार्यक्रम चलाने के लिए एक मंच के तौर पर भी कार्य करेगी जिससे नवप्रवर्तन उत्कृष्टता और दीर्घकालीन सामाजिक प्रभाव के हमारे साझा विजन को आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी।”
युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन में उपाध्यक्ष (अंतरराष्ट्रीय संबंध) प्रोफेसर एंड्र्यू एथर्टन ने कहा, “कॉमवीवा के साथ यह साझीदारी भारत में हमारे विद्यार्थियों के लिए सार्थक और करियर केंद्रित अवसरों का सृजन करने की हमारी सतत प्रतिबद्धता सामने लाती है। इस गठबंधन के जरिए हमारा लक्ष्य हमारे विद्यार्थियों को ऐसे कौशल और अनुभव से युक्त बनाना है जो एक वैश्विक कार्यस्थल और प्रतिस्पर्धी उद्योग में सफलता के लिए आवश्यक हैं। हम प्रतिभा विकास, नवप्रवर्तन और व्यापक स्तर पर समुदाय के साथ काम करने के लिए कॉमवीवा जैसी एक वैश्विक कंपनी के साथ आगे चलकर काम करने की उम्मीद करते हैं।”
कॉमवीवा युनिवर्सिटी ऑफ साउथैंप्टन, दिल्ली के विद्यार्थियों के लिए मानदेय आधारित ग्रीष्मकालीन इंटर्नशिप की भी व्यवस्था करेगी और इस अकादमिक वर्ष के दौरान विद्यार्थियों के प्लेसमेंट के अवसरों का सृजन करेगी। इस युनिवर्सिटी के पात्र विद्यार्थी को कॉमवीवा के ग्रैजुएट असेसमेंट प्रोसेस की भी सुविधा मिलेगी। कॉमवीवा ने इस असेसमेंट के सफलतापूर्वक पूरा होने पर स्नातक को नौकरी पर रखने के लिए भी सहमत है।