नई दिल्ली। हरियाणा के बहुचर्चित जूनियर बेसिक ट्रेंड [जेबीटी] शिक्षक भर्ती घोटाले पर आधारित कड़ी को टीवी चैनल सोनी के क्राइम पेट्रोल दस्तक में प्रसारित किए जाने पर रोक लगा दी गई हैं। इसके प्रसारण को लेकर सुप्रीम कोर्ट में आपत्ति दर्ज कराई गई है और फिलहाल इसके प्रसारण पर रोक लगा दी गई है। सुप्रीम कोर्ट में इस मामले पर गुरुवार को विस्तार से सुनवाई होगी।
प्रसारण कंपनी के सीओ ने इस कार्यक्रम के प्रसारण को लेकर सुप्रीम कोर्ट को भरोसा दिलाते हुए कहा है कि फिलहाल इस कार्यक्रम का प्रसारण रुका रहेगा। हालांकि इस दौरान उन्होंने कोर्ट में अपना पक्ष रखते हुए कहा कि इस कार्यक्रम से घूस देने की बात को हटा दिया जाएगा।
उधर, कोर्ट में ओमप्रकाश चौटाला के वकील इस कार्यक्रम के प्रसारण पर रोक लगाने की अपनी मांग पर अड़े रहे। उन्होंने कहा कि इस मामले में सुनवाई अभी पूरी नहीं हुई है और इस लिहाज से कार्यक्रम के प्रसारण पर रोक लगा दी जानी चाहिए। उन्होंने अपना पक्ष रखते हुए कहा कि इसके प्रसारण से संबंधित लोगों के जमानत और अपील की सुनवाई प्रभावित होगी। इसके साथ हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री के वकील ने कहा कि इससे ओम प्रकाश चौटाला की छवि भी प्रभावित होगी।
उल्लेखनीय है कि 1999-2000 में राज्य के 18 जिलों में हुई 3206 जेबीटी शिक्षक भर्ती घोटाले में हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओम प्रकाश चौटाला समेत 55 लोग दोषी पाए गए हैं। इन 55 दोषियों में उनके बेटे अजय चौटाला का नाम भी है। सभी दोषियों को न्यायिक हिरासत में ले लिया गया है। शिक्षक अहर्ता मानदंडों को ताक पर रखकर मनचाहे लोगों की पैसे लेकर बहाली की गई। शिक्षकों की भर्ती की जिम्मेवारी कर्मचारी चयन आयोग से लेकर जिला स्तर पर बनाई गई चयन कमिटी को सौंपी गई थी, जिसने फर्जी इंटरव्यू के आधार पर चयनित उम्मीदवारों की सूची तैयार की थी।
साथ ही जिलास्तरीय चयन कमिटी में शामिल शिक्षा विभाग के अधिकारियों पर मनचाहे उम्मीदवारों के चयन के लिए दबाव भी डाला गया था। इस मामले की जांच सीबीआइ कर रही थी। हरियाणा के मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला उस वक्त मुख्यमंत्री थे और शिक्षा मंत्रालय का प्रभार भी उन्हीं के पास था। 2004 में मामले की चार्जशीट दाखिल की गई थी।