नई दिल्ली। जनसभाओं में भाषणों के दौरान नेता अपने बेतुके बोल से बाज नहीं आते। बीते दिनों मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौैहान की पत्नी पर टिप्पणी करने वाले मध्यप्रदेश के आदिवासी कल्याण मंत्री विजय शाह को अपनी बयानबाजी के लिए इस्तीफा देना पड़ गया। मंत्री जी ने अपने ही सीएम की पत्नी पर कटाक्ष करते हुए कहा था कि भईया के साथ तो रोज घूमने जाती हैं कभी देवर के साथ भी जाया करें। मंत्री जी की ये टिप्पणी उनपर ही भारी पड़ गई।
गौरतलब है कि रविवार को झाबुआ में एक कार्यक्रम के दौरान मंत्री जी ने सिर्फ सीएम को ही नहीं बल्कि मंच पर मौजूद दो महिला नेताओं पर भी अश्लील टिप्पणी कर डाली। इस कार्यक्रम में पहुंचे शाह ने मंच पर मौजूद एक नाम की दो महिला नेताओं पर आपत्तिजनक टिप्पणी की। उन्होंने मंच पर एक साथ दो महिला नेताओं को देखकर कहा कि लगता है झाबुआ में एक के साथ एक फ्री मिलता है। शाह यहीं नहीं रुके, उन्होंने शिविर में बैठी लड़कियों की ओर इशारा करते हुए यहां तक कह डाला, पहला-पहला जो मामला होता है, वह आदमी भूलता नहीं। भूलता है क्या?.. बच्चे समझ गए होंगे। बहरहाल, इस बात के फौरन बाद मंत्री ने शरारती लहजे में कहा कि पहले-पहले मामले से उनका मतलब पहली बार मंत्री पद पर पहुंचने से था।
इस्तीफे से पहले शाह ने सोमवार को अपने अश्लील शब्दों के लिए माफी मांग ली थी। शाह ने कहा, अगर मेरे भाषण से किसी को थोड़ा सा भी दुख हुआ हो, तो मैं इसके लिए 10 बार माफी मांगता हूं। उन्होंने कहा, मैं इस बात से दुखी हूं कि हास-परिहास के मूड में दिए गए मेरे भाषण को गलत तरह से लिया गया।