नवग्रह आश्रम की सेवाओं को प्रचारित करने की हम सबकी जिम्मेदारी- हुड्डा
मोतीबोर का खेड़ा(भीलवाड़ा)
भारतीय वन सेवा हरियाणा काॅडर के आईएफएस नवदीप हुड्डा ने भीलवाड़ा जिले के मोतीबोर का खेड़ा में स्थित श्रीनवग्रह आश्रम का निरीक्षण कर वहां हर्बल नर्सरी में लगाये गये 411 प्रजातियों के औषधीय पौधों के बारे में जानकारी प्राप्त की।
हुड्डा ने निरीक्षण करने के उपरांत बताया कि भारतीय वन सेवा में रहते हुए देश की कई नर्सरियों का अवलोकन किया गया पर आयुर्वेद औषधीय पौधों की 411 प्रजातियों के पौधे एक साथ एक परिसर में पहली बार देखा है। उन्होंने कहा कि इस प्रकार का यह सेवा कार्य आज के दौर में मुश्किल कार्य है फिर भी आश्रम संस्थापक वैद्य हंसराज चोधरी के प्रयासों से आज भीलवाड़ा जिले में इस प्रकार की हर्बल नर्सरी तैयार कर वहां देश व दुनियां से पौधों को संग्रहित कर उनको रोपित करना व उनको जीवित रखना बहुत बड़ा कार्य है। हुड्डा ने कहा कि केंसर जैसे असाध्य रोगियों को जो दवा यहां निःशुल्क दी जा रही है वो सबसे पुण्य कार्य है। उन्होंने आश्रम को नाॅन कामर्शियल आर्गेनाईजेशन बताते हुए कहा कि इस प्रकार के सेवा कार्य करने वाले संस्थानों को सामाजिक व सरकारी स्तर पर प्रोत्साहित करने की महत्ती आवश्यकता है।
हुड्डा ने दिन भर आश्रम की गतिविधियों का निरीक्षण किया तथा आश्रम संस्थापक वैद्य हंसराज चोधरी व सुरेंद्र सिंह से आश्रम की गतिविधियों के बारे में विस्तार से जानकारी प्राप्त की। वैद्य चोधरी ने हुड्डा को आश्रम का साहित्य भी भेंट किया। हुड्डा ने कहा कि यहां सबसे अच्छी बात यह लगी कि रोगी या उसके अभिभावक को दी जाने वाली औषधी के साथ दवा का पूरा फार्मुला देने के साथ आयुर्वेद पौधों को भी प्रत्यक्ष रूप से दिखाया जाता है ताकि रोगी स्वयं जागरूक होकर अपने यहां पर ही दवा ग्रहण कर रोग मुक्त हो सकता है। उन्होंने कहा कि चोधरी द्वारा रोगियों को प्रशिक्षण देने के दौरान सनातन संस्कृति के गुरूकुल पद्धति से दिये जाने वाले प्रशिक्षण को भली भांती समझ कर रोगी या उसके परिजन स्वयं भी अपने क्षेत्र में आश्रम की गतिविधियों को प्रचारित या प्रसारित कर अन्य रोगियों के सहायक सिद्ध हो सकते है।
हुड्डा ने इस बात पर अफसोस जताया कि बिना किसी सरकारी सहायता व नाॅन कार्मर्शियल आर्गेनाईजेशन की तर्ज पर संचालित श्रीनवग्रह आश्रम को मीडिया में प्रसारित प्रचारित करने की आज महत्ती आवश्यकता है क्योंकि एलोपेथी के उपचार में रोगी लाखों रू खर्च करने के बाद इस प्रकार का असरदार उपचार नहीं प्राप्त कर पा रहे है। आश्रम की गतिविधियों का हर प्लेटफार्म पर प्रचार प्रसार करना हम सबकी महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है।
हुड्डा ने आश्रम के चिकित्सक डा.शिवशंकर राड़, डा. लोकपाल आर्य, डा. प्रदीप चोधरी, श्रीनवग्रह आश्रम सेवा संस्थान के सचिव जितेंद्र चैधरी, महिपाल चोधरी, प्रवेश आचार्य, हरफूल चोधरी, अजय चोधरी, सुरेंद्र सिंह, चरणसिंह से भी आश्रम की गतिविधियों के बारे में जानकारी प्राप्त कर उनको इस पुनित सेवा कार्य में सदैव अग्रसर होने का आव्हान किया।
— मूलचन्द पेसवानी