ग्रामीणों की रोटी छीनकर भर रहे हैं अखबारों का पेट

आजकल जनप्रतिनिधियों के आगमन, या किसी योजना की घोषणा होने मात्र से ही पंचायतीराज संस्थानों की ओर से बधाई एवं हार्दिक अभिनंदन के सजावटी विज्ञापन प्रकाशन की नई परंपरा शुरू हो गई है। नियमानुसार सजावटी, बधाइयों या शुुभकामनाओं के विज्ञापन वे ही पंचायतीराज संस्थान प्रकाशित करवा सकते हैं जिनकी ‘निजी आयÓ हो। प्रश्न ये उठता … Read more

error: Content is protected !!