सभी ट्रेनों को सही समय पर चला कर दिखाएँ

IMG-20160127-WA0015IMG-20160127-WA0016IMG-20160127-WA0018IMG-20160127-WA0017भारतीय रेल का चेहरा बदलने की तैयारी में मोदी सरकार का पहला कदम ….
ये है “महामना एक्सप्रेस” जिसका आज मोदी जी हरी झण्डी दिखाकर उदघाटन करेंगे.ये ट्रेन सप्ताह में तिन दिन वाराणसी से नई दिल्ली के बीच चलेगी.
“मेक इन इंडिया”प्रोजेक्ट में बनी इस गाडी के कोच निशातपुरा भोपाल (मध्य प्रदेश)में बनकर तैयार हुए है और इन डिब्बों को अंदर से खूबसूरत बनाने का डिजाईन अहमदाबाद स्थित NID इंस्टिट्यूट के छात्रो ने बनाया है.
ट्रेन में मोबाइल चार्जर के अलावा LED TV की भी व्यवस्था है अत्याधुनिक बायो टॉयलेट,हाथ मुह धोने के लिए शानदार वाश बेसिन,उतरते वाली सीढ़ियों के नीचे LED लाइट, डिब्बे के अंदर भी LED लाइट,आरामदायक और लंबी शानदार सीट ऊपर सीट पर चढ़ने के लिए सीढ़ी.
कांग्रेस और विपक्षी चिल्ला चिल्लाकर रोज हंगामे खड़े करते रहे मोदी सरकार खामोशी से अपने कार्य कर रही है…

हरेक सीट पर 18 इंच की टच स्क्रीन के साथ डीटीएच कनेक्शन, रेफ्रीजरेटर, माइक्रोवेव, कॉफी वेंडिंग मशीन, टॉयलेट, मनोरंजन के लिए 50 फिल्में और 5000 गीतों का मजा, वाई-फाई…जैसी सुविधाओं से लैस यह नजारा किसी विमान का नहीं, बल्कि गुजरात की एक बस का है।

बस में एयर हॉस्टेस भी…
इस बस में मिलने वाली सुविधाएं किसी एयरलाइंस से कम नहीं। यहां यात्रियों के आरामदायक सफर के लिए मनोरंजन से लेकर हरेक बात का ध्यान रखा गया है। बस में एयर हॉस्टेस भी यात्रियों की सेवा में हाजिर रहती है।
कीमत 2 करोड़ रुपए से ऊपर:
बस राजकोट की निजी ट्रैवल कंपनी की है, जो राजकोट से अहमदाबाद तक चलती है। कंपनी इसके अलावा अन्य कई लग्जुरियस बसें भी चलाती है। ट्रैवल कंपनी के मालिक का दावा है कि इस बस की कीमत 2 करोड़ रुपए से ऊपर है और यह गुजरात की सबसे महंगी बस है।
3 घंटे में 202 किमी का सफर:
– 21 यात्रियों की क्षमता वाली इस बस का किराया 1100 रुपए है।
– ‘क्लब-वन’ नाम से पहचानी जाने वाली यह बस नॉन-स्टॉप चलती है।
– राजकोट-अहमदाबाद के बीच की 202 किमी की दूरी 3 घंटे में पूरा करती है।

राजेन्द्र गुप्ता
राजेन्द्र गुप्ता
मेरा निजी विचार यह है कि ऐसी बसें और रेल भारत के आम आदमी का मजाक उड़ाती हैं। यह समाज को अमीर-गरीब में ना बांटकर अभिजात्य और हीन वर्ग में बांटती है।
जिस प्रकार शाहजहाँ ने ताजमहल बनवाकर उन कारीगरों के हाथ कटवा दिए जिन्होंने वह विश्व का आठवाँ आश्चर्य बनाया।
मोदी जी करना ही चाहते हैं तो सभी ट्रेनों को सही समय पर चला कर दिखाएँ। रेल बजट के बजाय चोर रास्ते से बीच में रेल किराया बढ़ा देने की नीति रोकें। ट्रेनों में रिजर्वेशन के नाम पर टिकट चेकर की घूसखोरी को रोकें। वे वर्तमान में चल रही ट्रेनों की दशा सुधार देवें। PPP के नाम पर देश के सार्वजनिक उद्यम अम्बानी-अडानी को सौंपने के नीति त्यागें।
एक VIP बस से ज्यादा जरूरी है उस रास्तों की दशा सुधारें जिन पर बसें चलती हैं।
पूँजीवाद का भौंडा प्रदर्शन करने के इन उपकरणों का विरोध होना चाहिए न कि स्वागत।
ऐसे में जबकि देश का अन्नदाता फांसी लगाकर मर रहा है इस देश के लिए बुलेट ट्रैन और ऐसी बसों से ज्यादा जरूरी है यह सरकार आम आदमियों के लिए सोचे ख़ास के लिए नहीं।
मेरी बात मोदीभक्तों और कांग्रेस में भी ऐसी ही विचारधारा के समर्थकों को बुरी लग सकती है लेकिन असली भारत यह नहीं है ज़रा अपने आसपास तो झांके क्या असली तस्वीर ऐसी ही है जो मोदीजी उनके अंधभक्त गढ़ने लगे हैं।

राजेंद्र गुप्ता
09611312076

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