अजमेर। अंजुमन औलादे गरीब नवाज की ओर से मांग की गई है कि 28 सितंबर को दिल्ली में होने वाली बैठक में उनके प्रतिनिधि को भी बुलाया जाए, ताकि वे भी अपना पक्ष रख सकें।
मांग पत्र में कहा गया है कि हम गरीब नवाज के वंषजों का प्रतिनिधित्व करने वाली रजिस्टर्ड संस्था हैं। वर्तमान में गरीब नवाज के तकरीबन 300 वंषज हैं। हम पिछले तकरीबन 800 सालों से अजमेर में निवास कर रहे हैं। हमारे लिए दरगाह ख्वाजा साहब एक्ट 1955 की धारा 11 ;रद्ध में प्रावधान है कि दरगाह कमेटी गरीब नवाज के वंषजो की षिक्षा व रहन-सहन के लिए भत्ता देने के लिए प्रतिबद्ध है। साथ ही साथ दरगाह कमेटी के बायलॉज की धारा 13 ;इद्ध में भी ख्वाजा साहब के वंषजों के जीवन स्तर को उच्च स्तर तक पहुंचाना दरगाह कमेटी का फर्ज बताया है ताकि ख्वाजा साहब के वंषजो (दरगाह दिवान के अतिरिक्त परिवार के अन्य सदस्य) का रूतबा समाज में इज्जत के साथ बना रहे। दरगाह कमेटी की विभिन्न एडमिनिस्टेªषन रिर्पोटस व दरगाह इन्क्वायरी रिपोर्टस 1949 (जस्टिस गुलाम हसन कमेटी द्वारा) में तो यहां तक सिफारिष की गई है कि दरगाह के चढ़ावे व नजराने का 1/6 हिस्सा वंषजो की षिक्षा के लिये तथा 1/6 हिस्सा अनाथ, विधवा व गरीब वंषजो को दिया जाये। इतनी सारी रिपोर्टस, दरगाह कमेटी एक्ट व दरगाह बॉयलाज में हमारे अधिकार होते हुए भी दरगाह कमेटी द्वारा हमें नजरअंदाज किया जाता रहा है। जबकि दरगाह एडमिनिस्ट्रेषन द्वारा केवल वर्तमान अंतरिम दरगाह दिवान को ही ख्वाजा साहब का इकलौता वंषज मानकर उन्हें सारी सुविधाऐ दी जाती रही हैं। दरगाह में आने वाले नजराने का आधा हिस्सा भी खादिमों की अंजुमनों द्वारा सिर्फ दरगाह दिवान को ही दिया जा रहे हैं जबकि उस पर गरीब नवाज के अन्य वंषजों का भी हक व अधिकार है। वर्तमान अंतरिम दरगाह दिवान साहब से पूर्व दूसरे वंषजो को उनके अधिकार मिलते रहें हैं (संबंधित दस्तावेज संलग्न हैं)।
ख्वाजा गरीब नवाज की जिस्मानी मृत्यु के बाद से दरगाह दिवान ही ख्वाजा साहब के अन्य वंषजों का दरगाह में प्रतिनिधित्व करते रहे हैं और हमेषा से ही दरगाह दिवान ख्वाजा साहब के वंषजो में से ही नियुक्त होते रहे हैं। लेकिन वर्तमान दिवान साहब केवल अपने निजी फायदे के लिए ही कार्य कर रहे हैं व अन्य वंषजो का पक्ष दरगाह एडमिनिस्ट्रेषन के समक्ष नहीं रख रहे हैं।
दरगाह कमेटी की आगामी 28 सितम्बर 2015 को होने वाली मीटिंग जिसमें कि दरगाह ख्वाजा साहब एक्ट में संषोधन किया जाना प्रस्तावित है और जिससे सबसे ज्यादा हम ही प्रभावित होंगे ऐसी स्थिति में हमें अपना पक्ष रखने हेतु नहीं बुलाया जाना न्यायसंगत नहीं हैं। इस मीटिंग हेतु अंजुमन सैयदजादगान, अंजुमन शेखजादगान व दरगाह दिवान के प्रतिनिधियों को आमंत्रित किया गया है जबकि अंजुमन औलादे गरीब नवाज के प्रतिनिधियों को अपना पक्ष रखने हेतु सूचित नहीं किया गया।
अतः आपसे अनुरोध है कि 28 सितम्बर 2015 को दिल्ली में होने वाली मीटिंग में अंजुमन औलादे गरीब नवाज के प्रतिनिधियों को भी आमंत्रित किया जाये जो कि न्यायोचित होगा। यदि समयाभाव के कारण पत्र व्यवहार संभव न हो तो आप मोबाईल नं. 9214549777 पर भी सूचित कर सकते हैं आपकी नवाजिष होगी।
