अजमेर। धार्मिक नगरी पुष्कर में चल रहे अंर्तराष्ट्रीय कार्तिक मेले का रविवार को समापन हो गया लेकिन धार्मिक मेले का समापन सोमवार को मृगछाला स्नान के साथ हुआ। हजारो श्रद्धालुओ ने पुष्कर सरोवर मे आस्था की डुबकी लगाकर अपने पंचतीर्थ स्नान का फल प्राप्त किया। शास्त्रों के अनुसार जो श्रद्धालु पूरे कार्तिक मास या पंाच दिन का पंचतीर्थ स्नान करता है उसे यह मृगछाला स्नान करना जरूरी है। चूंकि जगत पिता ब्रह्मा ओर वेदमाता गायत्री के यज्ञ के समापन के बाद यह स्नान होता है इसलिये इसे यज्ञांत स्नान भी कहा जाता है। पंडितो के अनुसार भृगूऋषि ने इस विशेष दिन मृग की छाल से सभी को पवित्र किया था इसलिये इसे मृगछाला स्नान कहा जाता है। यदि कोई श्रद्धालु कार्तिक मास के स्नान से वंचित रह जाता है तो उसे इस दिन स्नान करने से पूरा फल मिल जाता है।
वहीं प्रशासन ओर पुलिस ने भी मेले के सफल समापन के बाद राहत की सांस ली। सोमवार से मेला मैदान मे लगे अस्थायी मेला मजिस्ट्रेट कैंप, कलेक्टर ओर पुलिस अधिक्षक के कैंप सिमटने लगे अब प्रशासन ओर पुलिस का पूरा ध्यान चुनावों पर केन्द्रित होगा।
