श्रीमती भदेल ने बाबा साहेब डाॅ.भीमराव अम्बेडकर की मूर्ति का किया अनावरण एवं मेघवाल समाज की प्रतिभाओं को किया सम्मानित
ब्यावर, 28 अगस्त। महिला एवं बाल विकास मंत्राी श्रीमती अनिता भदेल ने कहा कि दलित समाज के उत्थान व सर्वांगीण विकास के लिए शिक्षा का खासा महत्व है क्योंकि समाज में परिवर्तन व सामाजिक बुराइयों के उन्मूलन में शिक्षित समाज की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है।
श्रीमती भदेल आज अखिल राजस्थान मेघवंशी मेघवाल महासभा संस्था द्वारा आयोजित प्रतिभा सम्मान समारोह को सम्बोधित कर रही थी, इस मौके पर उन्होेंने मेघवंशी छात्रावास परिसर ब्यावर में संविधान निर्माता बाबा साहब डाॅ. भीमराव अम्बेडकर की प्रतिमा का अनावरण भी किया। उन्होंने कहा कि बाबा साहब डाॅ. भीमराव अम्बेडकर हजारों वर्षाें से उपेक्षित दलित समाज के हितों के संरक्षण के लिए संघर्ष करते रहें और संदेश दिया कि शिक्षित बनों, संगठित रहो एवं संघर्ष करो। इस प्रकार उनका यह संदेश वर्तमान दौर में भी पूर्णतया प्रासंगिक है, यदि दलित समाज का सर्वांगीण विकास करना है तो समाज में शिक्षा का व्यापक प्रचार-प्रसार आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि हम सभी सौभाग्यशाली हैं कि देश को आजादी मिलने के बाद जन्म लिया है क्योंकि हमारा संविधान सभी को शिक्षा व समानता के समान अवसर प्रदान करता है इसके लिए संविधान निर्माता बाबा साहब भीमराव अम्बेडकर के अतुलनीय योगदान के लिए उनको शत-शत नमन है। साथ ही उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्राी श्रीमती वसुन्धरा राजे के नेतृत्व में प्रत्येक ग्राम पंचायत मुख्यालय पर हायर सैकण्डरी विद्यालय की व्यवस्था की गई है जिससे गांव के बच्चों को घर के समीप ही समुचित शिक्षा सुविधाएं मुहैया कराई जा रही है। इस प्रकार गांव-गांव में शिक्षा के प्रसार से शिक्षित व विकसित समाज का निर्माण होगा।
बेटी को पढ़ाना आवश्यक
महिला एवं बाल विकास मंत्राी श्रीमती भदेल ने कहा कि दलित समाज अपनी बेटियों को बेटों के समान ही शिक्षा के अवसर प्रदान करें जिससे बेटियां सामाजिक कुरीतियों को दूर कर सामाजिक परिर्वतन में सहभागी बन सके। उन्होंने कहा कि शिक्षित बेटी अपने परिवार के साथ पराये परिवार को भी संवारती है, साथ ही भावी पीढ़ी को भी संस्कारवान व शिक्षित बनाने में अहम भूमिका निभाती है। इस मौके पर उन्होंने विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में मेरिट सूची में दलित छात्राओं के अव्वल रहने की बात कहते हुए यू.पी.एस.सी. की परीक्षा में अव्वल रही दलित बालिका टीना डाबी का भी उल्लेख किया।
सामूहिक विवाह से बुराइयों का समापन
महिला एवं बाल विकास मंत्राी श्रीमती अनिता भदेल ने मेघवंशी मेघवाल समाज को पांच सामूहिक विवाह के सफलतम आयोजन के लिए बधाई देते हुए कहा कि सामूहिक विवाह से लाखों रूपये के व्यर्थ खर्च पर रोक लगी है, साथ ही आर्थिक दृष्टि से कमजोर परिवारों को सहायता भी मिली है। इस मौके पर उन्होंने अखिल राजस्थान मेघवंशी मेघवाल महासभा संस्था को पंचम सामूहिक विवाह सम्मेलन में 51 जोड़ों का विवाह करवाने पर 1 लाख 65 हजार रूपये के सरकारी अनुदान एवं नवविवाहित बेटियों को 8 लाख 25 हजार रूपये की राशि का एफ.डी. प्रदान की। इस प्रकार कुल 9 लाख 90 हजार रूपये का सरकारी अनुदान नवविवाहित जोड़ों व आयोजन समिति को दिया गया।
प्रतिभाओं को किया सम्मानित
महिला एवं बाल विकास मंत्राी श्रीमती अनिता भदेल ने समारोह में मेघवाल समाज के प्रतिभाशाली विद्यार्थियों को कक्षा 10, 12 एवं महाविद्यालय स्तर पर विशेष उपलब्धि अर्जित करने पर स्मृति चिन्ह व प्रमाण पत्रा देकर सम्मानित किया। साथ ही समाज के भामाशाह व सहयोगियों क्रमशः संरक्षक अर्जुनराम दुखाड़िया, जफरू राम भाटी, भगवान सहाय जारोड़िया, गुरूशरण गोयल आदि को भी मोमेन्टो देकर सम्मानित किया गया।
बाबा साहब डाॅ. भीमराव अम्बेडकर की प्रतिमा का अनावरण
श्रीमती भदेल ने मेघवंशी छात्रावास परिसर में मेघवाल समाज के विशिष्टजनों की उपस्थिति में संविधान निर्माता बाबा साहब भीमराव अम्बेडकर की प्रतिमा का अनावरण कर उनको नमन किया। इस मौके पर उन्होंने सभी को बाबा साहब की शिक्षाओं का अनुसरण करने की बात कही।
इससे पूर्व कार्यक्रम में श्रीमती भदेल ने मेघवाल समाज के पंचम सामूहिक विवाह सम्मेलन की स्मारिका का विमोचन भी किया। इस मौके पर मेघवाल समाज के संरक्षक जफरू राम भाटी एवं अर्जुनराम दुखाड़िया ने अखिल राजस्थान मेघवंशी मेघवाल महासभा संस्था द्वारा किये जा रहे सामाजिक विकास के कार्याे की जानकारी देते हुए अतिथियों का स्वागत व अभिनन्दन किया। समारोह को स्वामी श्री अनन्तानन्द महाराज एवं आचार्य श्री ओमप्रकाश ने भी सम्बोधित किया।
इस मौके पर जिला प्रमुख राजसमन्द परवेश सालवी, स्थानीय जनप्रतिनिधि, उपखण्ड अधिकारी आसीन्द ओमप्रकाश मेहरा, समाज के खीमराज कटारिया, कुम्पाराम जोधावत, दूल्हाराम कतीरिया, जीवनराम मेहरा, भंवरलाल धोधावत, गुरूशरण गोयल, हजारीलाल भाटी, राजेन्द्र कटारिया समेत पाली, जोधपुर, मारवाड़, भीम, राजसमन्द, अजमेर, भीलवाड़ा से आये गणमान्य नागरिक व समाजबन्धु मौजूद थे। –00–
