राम सेतू एलिवेटेड रोड के मामले में मित्तल के विरुद्ध झूठे हलफनामे फौजदारी प्रकरण मैं सुनवाई। 15 अक्टूबर को होगी पूर्व विधायक डॉ राजकुमार जयपाल व अधिवक्ताओं ने पेश किया प्रकरण
अजमेर सिविल न्यायाधीश नगर पश्चिम के न्यायाधीश श्री मनमोहन चंदेल की अदालत में पुर्व विधायक डॉ राजकुमार जयपाल एडवोकेट जीतेश धनवानी व मुकेश पूरी द्वारा चारु मित्तल तत्कालीन परियोजना निर्देशक RSRDC यूनिट अजमेर के विरुद्ध अदालत में झूठा शपथ पत्र देने के मामले में फौजदारी प्रकरण पेश किया है जिसकी सुनवाई 15 अक्टूबर 2025 को नियत की गई है मामला कोर्ट में रामसेतु एलिवेटेड ब्रिज के मामले में मिथ्या शपथपत्र से जुड़ा हुआ है दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 340 हाल भी भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 379 के तहत मामला पेश किया गया जिस पर पन्द्रह अक्टूबर को बहस होगी।
याचिका कर्ता के अधिवक्ता पूर्व लोकअभियोजक विवेक पाराशर बार अध्यक्ष अशोक सिंह रावत एंडवोकेट संजीव रोहेला के जरिए पेश फौजदारी प्रकरण में अदालत को बताया गया है कि दिनांक 11-7 -2025 को चारु मित्तल द्वारा न्यायलय के समक्ष हलफनामा दाखिल किया कि दिनांक 3 – 7 – 2025 को सोनीजी की नसिया वाली राम सेतू एलिवेटेड रोड की भुजा सुदृढ़तः सुधार कर दी गई है ओर यह भुजा सुरक्षित है व आम जन के लिए व आवागमन के लिए सुरक्षित बताया जिस पर अदालत द्वारा विश्वास करते हुए एलिवेटेड रोड की चारों भुजाएं चालू करने के आदेश पारित किए बावजूद इसके 94 दिनों तक उक्त भुजा बंद पड़ी है प्रकरण में आरोप लगाया गया है कि एक और तो अदालत में झूठा हलफनामा पेश किया गया और अदालत को भ्रामक जानकारी देकर गुमराह करने का प्रयास किया गया। अदालत के आदेश के बावजूद भी सोनी जी की नसिया वाली भुजा को चालू नहीं किया गया और अब एमएनआईटी व अन्य अधिकारियों की बैठक का समाचार पत्रों में प्रकाशन हुआ तो पता चला कि उपरोक्त एलिवेटेड के सोनी जी की नसिया वाली भुजा सुरक्षित नहीं हैं और उसे नए सिरे से दुरुस्त करने के लिए नया टेंडर जारी किया गया है जिसमें भी करीब दो माह से अधिक समय लगने की संभावना जताई गई है।
ऐसे में झूठे शपथ पत्र के आधार पर अदालत को गुमराह किया गया और आम जनता की जान को जोखिम में डाला गया जिससे कोई बड़ी घटना
हो सकती थी। ऐसे में याचिका में सख्त से सख्त कानूनी कार्रवाई कर चारु। मित्तल को दंडित करने की प्रगति रिपोर्ट। मैं शपथ पत्र भी संबंधी से तलब किए जाने व न्यायालय की निगरानी में उक्त एलिवेटेड रोड का कार्य कराए जाने
की भी मांग याचिका में की गई है प्रार्थना पत्र को भैंस दिनाक 15 अक्टूबर को सुनवाई होगी उसी दिन सिविल मुकदमों की भी सुनवाई है