तभी शेरी पा जी को ट्विट्टर पे आगाह कर दिया था कि गुरु ये आम आदमी पार्टी है।इसमें अरविन्द केजरीवाल के अलावा सभी आम आदमी हैं , और आप ठहरे खास। “आप” में किसी को भी उभरते हुए देखने की आदत नहीं है। शेरी पा आप ख्वाब देख रहे हैं पंजाब के मुख्यमंत्री का। तो गुरु ठोक बजा के लिखित में काम करना।मगर ये हो न सका। अब ये आलम सिद्धू पा जी न इधर के रहे और न उधर के। कांग्रेस से जुड़ना मतलब डूबते ज़हाज़ में सवार होना था , तो काफी मशकत के बाद उन्होंने AAP यानी आवाज़-ए-पंजाब बनाई है।
आगे आगे देखना है अब होता है क्या ?