साध्वी के साथ यौन शोषण : डेरा प्रमुख रामरहीम दोषी करार

ram_rahimचंडीगढ़। साध्वी के साथ यौन शोषण किए जाने मामले में कानूनी शिंकजे में फंसे डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को आज पंचकूला कोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया है। कोर्ट ने इस मामले में डेरा प्रमुख राम रहीम को दोषी करार दिया है, जिसके बाद उन्हें इस मामले में अब 28 अगस्त को सजा सुनाई जाएगी। कोर्ट द्वारा दोषी करार दिए जाने के राम रहीम को कस्टडी में ले लिया गया है, जहां से उन्हें सीधा जेल ले जाया जाएगा।

डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को पंचकूला कोर्ट ने रेप के मामले में दोषी करार दे दिया है। राम रहीम को इस मामले में अब 28 अगस्त को सजा सुनाई जाएगी। कोर्ट में दोषी करार दिए जाने के बाद राम रहीम कोर्ट से सीधे जेल जाएंगे। इससे पूर्व आज आने वाले फैसले को लेकर भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच डेरा प्रमुख पंचकूला कोर्ट पहुंचे। कोर्ट के रास्ते में डेरा समर्थकों की भारी तादाद को देखते हुए पुलिस डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को लेकर कोर्ट में पिछले दरवाजे से दाखिल हुई।

गौरतलब है कि अप्रैल 2002 में राम रहीम की अनुयायी एक साध्वी ने पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट और तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को एक शिकायत भेजी थी। साध्वी ने शिकायत में राम रहीम पर यौन शोषण का आरोप लगाया था।

कब-कब और क्या-क्या हुआ 15 सालों में :
अप्रैल 2002 : राम रहीम की ही अनुयायी एक साध्वी ने पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट और तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को एक शिकायत भेजी थी। इस शिकायत में साध्वी ने डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह पर यौन शोषण किए जाने का आरोप लगाया था।
मई 2002 : शिकायती पत्र को तस्दीक करने की जांच का जिम्मा सिरसा के सेशन जज को सौंपा गया।
दिसंबर 2002 : शिकायत सही पाए जाने के बाद राम रहीम के खिलाफ धारा 376, 506 और 509 के तहत केस दर्ज किया गया था।
दिसंबर 2003 : इस केस की जांच सीबीआई को सौंपी गई. जांच अधिकारी सतीश डागर ने केस की जांच शुरू की और साल 2005-2006 में उस साध्वी को ढूंढ निकाला, जिसका यौन शोषण हुआ था।
जुलाई 2007 : सीबीआई ने केस की जांच पूरी कर अंबाला सीबीआई कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की। अंबाला से केस की सुनवाई पंचकूला शिफ्ट कर दी गई। चार्जशीट के मुताबिक, डेरे में 1999 और 2001 में कुछ और साध्वियों का भी यौन शोषण हुआ, लेकिन वे मिल नहीं सकीं।
अगस्त 2008 : केस का ट्रायल शुरू हुआ और डेरा प्रमुख राम रहीम के खिलाफ आरोप तय किए गए।
2011 से 2016 : केस का ट्रायल चला, जिसमें डेरा प्रमुख राम रहीम की ओर से वकीलों ने लगातार जिरह की।
जुलाई 2016 : केस की सुनवाई के दौरान 52 गवाह पेश किए गए, जिनमें 15 प्रॉसिक्यूशन और 37 डिफेंस के थे।
जून 2017 : कोर्ट ने डेरा प्रमुख के विदेश जाने पर रोक लगा दी।
25 जुलाई 2017 : सीबीआई कोर्ट ने इस मामले में हर रोज सुनवाई करने के निर्देश दिए, जिससे जल्द फैसला सुनाया जा सके।
17 अगस्त 2017 : दोनों पक्षों की ओर से चल रही जिरह खत्म हुई और फैसले के लिए 25 अगस्त की तारीख तय की गई।

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