लोकसभा के शून्यकाल में छाया रेल बस का मुद्दा
राजसमन्द संसदीय क्षेत्र का मामला
राजसमन्द। सांसद और भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश महामन्त्री हरिओम सिंह राठौड़ ने लोकसभा में मेड़ता सीटी से मेड़ता रोड के बीच चलने वाली रेल बस सेवा का मुद्दा उठाते हुए कहा की दोनों स्टेशन के बीच चलने वाली रेल बस की यात्री क्षमता, प्रतिदिन लगने वाले फेरों में कमी और पूर्व की तुलना में फेरों के समय में वृद्धि के कारण आमजनता को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा हे। भाजपा संसदीय क्षेत्र मीडिया संयोजक मधुप्रकाश लड्ढा ने बताया की सांसद राठौड़ ने गुरुवार को लोकसभा के शून्य काल में रेल बस सेवा की लचर व्यवस्था के स्थान पर डेमो ट्रेन चलाने की माँग करते हुए कहा की वर्तमान में चल रही रेल बस की यात्री क्षमता मात्र 72 हे जबकि हर फेरे में 150 से ज्यादा यात्री सफर करते हैं। रेल बस की यात्री क्षमता कम और भीड़ ज्यादा होने के कारण बुजुर्गों, महिलाओं, बच्चों और विकलांगो को भारी असुविधाओं का सामना करना पड़ता हे। राठौड़ ने कहा की दोनों स्टेशन के बीच में पड़ने वाले दोनो मानव क्रॉसिंग फाटक पर गार्ड नही होने के कारण रेल चालक को रेल रोक कर स्वयम ही फाटक बंद करने और खोलने के लिए गार्ड का काम भी करना पड़ता हे परिणाम स्वरुप मेड़ता सीटी से मेड़ता रोड के बीच में 15 मिनट के फेरे की जगह 35 मिनट लगते हैं इस वजह से दिनभर में पहले जँहा 12 फेरे लगते थे वंही आज सिर्फ नो फेरे ही होते हैं। राठौड़ ने कहा की डेमो ट्रेन में चार डिब्बे होने की वजह से आमजनता को यात्री भार की समस्या से पूरी तरह छुटकारा मिल जाएगा वंही मानव क्रॉसिंग पर गार्ड की नियुक्ति होने से एक्सिडेंट की सम्भावना भी क्षीण हो जाएगी