हादसों से होती है प्रतिदिन देश में ४०० से भी अधिक मौतें

— जोश से नही होश से चलाएं वाहन
पायलट प्रोजेक्ट शुरू

bबीकानेर। सडक़ सुरक्षा व सडक़ हादसों के बचाव को लेकर राजस्थान सरकार व चंडीगढ़ की एनजीओ अराइव सेफ एंड राइजर इंजीनियरिंग की ओर से पायलट प्रोजेक्ट की शुरूआत बीकानेर के गांव रिडमलसर से की। जिसके तहत लोगों को सडक़ों पर होने वाले हादसों के बचाव को लेकर प्रोजेक्टर व प्रेक्टिकल जानकारी दी गई। एनजीओ संस्था के अध्यक्ष हरमन सिंह सिद्धू जो खुद एक सडक़ हादसे में रीढ़ की हड्डी टूटने से पीडि़त है, ने बताया कि उनकी जिंदगी का मकसद लोगों को सडक़ हादसों से बचाव को लेकर जागरूक करना है। क्योंकि भारत में प्रतिदिन होने वाले सडक़ हादसों में चार सौ से भी अधिक लोग अपनी कीमती जान से हाथ धो बैठते है। जिनमें अधिक संख्या युवा वर्ग व बच्चों की होती है। प्रेक्टिकल दौरान जब दो बच्चों से दौड़ते हुए आपस में सिर टकराने के लिए कहा तो वह ऐसा नही कर पाए। जिसका कारण दोनों बच्चों को चोट लगने का भय था। जिस पर सिद्धू ने कहा कि चोट लगने के भय से बच्चे नही टकराए पर वह वाहन को होश से नही बल्कि जोश से चलाते है। कहा कि अगर वाहनों को होश में व ट्रैफिक नियमों की पालना करते हुए चलाया जाए तो हादसों पर काफी हद तक लगाम लग सकती है। कहा कि दो पहिया वाहन चलाते समय हेल्मट तथा चार पहिया वाहन चलाते समय सीट बेल्ट जरूर लगाई जाए।

कहा कि यह प्रोजेक्ट वल्र्ड बैंक के सहयोग से शुरू किया गया है ताकि अधिक से अधिक लोगों को सडक़ हादसों के बचाव को लेकर जागरूक किया जाए। जिसको लेकर उनकी संस्था की ओर से १०३९ पंचायतों, २७ पंचायत समितियों सहित स्कूलों में तथा ट्रक यूनियनों में जा वाहन चालकों को जागरूक किया जाएगा। इस दौरान गांव के सरपंच रामधन ने लोगों को सडक़ हादसों से बचाने की दी जानकारी पर आभार जताते हुए कहा कि इससे युवा वर्ग जरूर जागरूक हुआ है। कहा कि हादसों के बचाव को लेकर सभी को ट्रैफिक नियमों की पालना जरूर करनी चाहिए। इस मौके मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर निशांत गुप्ता, ग्राम सेवक लाल चंद, एईएन पीडब्लयूडी बीकानेर अब्दुल वाहिद के अलावा अन्य मौजूद थे।

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