रागरस में शास्त्रीय गायन-वायलिन वादन ने समां बांधा

संगीत मनीषी डा. जयचन्द्र शर्मा को नमन किया

DSCN0491बीकानेर 20 सितम्बर 2017। सुर-संगीत से गूंज रहा था हंसा सभागार। मंच पर एक ओर धूप-अगर से फैल रही सुगंध के बीच फूलमालाओं से लकदक बड़े फ्रेम में जड़ी तस्वीर में संगीत मनीषी डा. जयचन्द्र शर्मा मुस्करा रहे थे। ऐसे महकते सभागार में निताई हाईजन ने शास्त्रीय गायन एवं निलेष नैरूदा ने वायलिन वादन से समां बांध दिया । कार्यक्रम में इनके साथ सारंगीवादक अनुष्टुप किषन का सम्मान किया गया । अवसर संगीत मनीषी डा. जयचन्द्र शर्मा की जयन्ती पर राग रस आयोजन का था। संगीत भारती एवं तोलाराम हंसराज डागा चेरिटेबल ट्रस्ट के संयुक्त तत्वावधान में हुए समारोह के
मुख्य अतिथि महाराजा गंगासिंह विष्वविद्यालय के कुलसचिव मनोज कुमार शर्मा थे। मुख्य वक्ता लोक कला मर्मज्ञ डा श्रीलाल मोहता ने संगीत को मानवीय अनुभूति को प्रकट करने का सषक्त माध्यम बताया । विषिष्ट अतिथि डा अजीज अहमद सुलेमानी; सखा संगम के अध्यक्ष एन डी रंगा ; आईएएसपीसी किषन, डा सीताराम गोठवाल ने भी विचार रखे। संगीत भारती के निदेषक डा मुरारी शर्मा ने विषय प्रवर्तन किया । डा राजभारती शर्मा ने डा जयचन्द्र शर्मा के व्यक्तित्व कृतित्व पर पत्रवाचन किया । संयोजक अषफाक कादरी ने कार्यक्रम की रूपरेखा पर प्रकाष डाला । ट्रस्ट के अध्यक्ष हंसराज डागा ने सभी का स्वागत किया । बड़ी संख्या में संगीत रसिक समारोह के साक्ष्य बने।
– मोहन थानवी

error: Content is protected !!