एक हसीन ख्वाब जो पलकों में ठहर गया
आया तो चेहरा मेरा फूलों सा निखर गया
नाम लिख दी है मैने उसके कई गजल
जिक्र उसका हुआ तो हर शेर बदल गया
जब भी आती है ख्यालों से खुशबू गुलाब की
लगता है वादियों में अवारा बिखर गया
जादू उसी का है मेरी गजलों में संवर गया
हसी लबों की मेरी उड़ा ले गया जाने कौन था
जो दे के जख्म पुराना दिल में उतर गया
ले के सुकून दिन का रातों का चैन लूट कर
बदले में दिल का मुझको उधार दे गया
मीनाक्षी ‘नाज’