काला धन भंडाफोड़ में शामिल भारतीयों की होगी जांच

p chidambremनई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय स्तर के पत्रकारों के एक समूह की हालिया रिपोर्ट में देश से बाहर काला धन भेजने वालों की ग्लोबल सूची में सैकड़ों भारतीयों के नाम आने की सूचना की जांच सरकार करवा रही है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के अधिकारियों ने सूची में शामिल भारतीयों के नाम की जांच पड़ताल अपने स्तर पर शुरू कर दी है। इस बात की जानकारी वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने दी।

चिदंबरम ने सरकार की जांच के बारे में और कुछ तो नहीं बताया, लेकिन माना जा रहा है कि सीबीडीटी ने अपने कुछ अधिकारियों की एक टीम गठित की है। टीम वाशिंगटन स्थित खोजी पत्रकारों के अंतरराष्ट्रीय समूह (आइसीआइजे) की तरफ से दी गई सूची को लेकर आवश्यक सूचना एकत्रित कर रही है। चूंकि जिन लोगों के नाम सामने आए हैं, वे सभी जाने पहचाने नाम हैं और आयकर विभाग के पास पहले से ही उनके बारे में तमाम सूचनाएं हैं। ऐसे में सीबीडीटी नई सूचना के संदर्भ में उनकी आयकर देनदारियों की पड़ताल करने की कोशिश करेगी। आइसीआइजे की रिपोर्ट में लगभग 612 भारतीयों के नाम शामिल हैं। इनमें कई नामी गिरामी उद्योगपति और राजनेता शामिल हैं।

वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने संकेत दिए कि आने वाले दिनों में कई क्षेत्रों में विदेशी निवेश की मौजूदा सीमा को बढ़ाने के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएंगे। इस क्रम में बीमा और पेंशन क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआइ) सीमा 26 से बढ़ाकर 49 फीसद करने के लिए भाजपा को मनाने की कोशिश की जा रही है, ताकि मौजूदा बजट सत्र में संबंधित बिल पारित कराया जा सके। अधिकांश क्षेत्रों में एफडीआइ सीमा काफी पहले तय की गई थी। अब जबकि आर्थिक सुधारों के लागू हुए 22 वर्ष हो चुके हैं, इनकी समीक्षा की जानी चाहिए। अगर किसी क्षेत्र में यह व्यवस्था ठीक काम कर रही है तो उसे बने रहने देना चाहिए। अगर इसमें बदलाव की जरूरत है तो फिर कदम उठाने चाहिए। इस समय वित्त मंत्रालय और भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआइ) की तरफ से अलग-अलग गठित दो समितियां एफडीआइ सीमा की समीक्षा कर रही हैं। आरबीआइ की समिति की रिपोर्ट दो हफ्ते में आने की उम्मीद है।

समय पर ही होंगे चुनाव

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने अगले आम चुनाव के निर्धारित समय से पहले होने की किसी भी संभावना को सिरे से खारिज किया है। चिदंबरम से जब यह पूछा गया कि क्या चुनाव पहले होने हैं तो उनका जबाव था, ‘क्यों होंगे समयपूर्व चुनाव। चुनाव अपने समय पर यानी मई, 2014 में ही होंगे। हम सभी अपने एजेंडा को पूरा करने में जुटे हुए हैं। जिस तरह से मैं अपनी भावी योजनाओं के बारे में आपको बता रहा हूं, क्या आपको लगता है कि हम चुनाव पहले होने देना चाहते हैं।’

-क्या-क्या बोले चिदंबरम-

1. एफडीआइ सीमा की होनी चाहिए समीक्षा

2. समय पर होंगे चुनाव, जारी रहेंगे आर्थिक सुधार कार्यक्रम

3. बीमा में एफडीआइ सीमा बढ़ाने के लिए भाजपा को मनाएंगे

4. चालू खाते में घाटे की स्थिति में जल्द होगा सुधार

5. कोयला पूल प्राइस पर कैबिनेट में होगा फैसला

6. जल्द लिए जाएंगे कई अहम फैसले

7. चीनी उद्योग पर नियंत्रण हटने से सभी का फायदा

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