समुदाय को समाज मुख्यधारा में शामिल करने के प्रयास हो

जिला स्तरीय कार्यकारी समिति नवजीवन योजना की बैठक आयोजित
colectriate 450अजमेर, 27 मई। जिला स्तरीय कार्यसमिति नवजीवन योजना की बैठक जिला कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित हुई। जिसमें राज्य सरकार की नवजीवन योजना के माध्यम से अवेध शराब के निर्माण, भण्डारण व विक्रय में लिप्त समुदायों को समाज की मुख्यधारा में शामिल करने हेतु किए जा रहे प्रयासों पर चर्चा हुई।
उपनिदेशक सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग श्रीमती विजयलक्ष्मी गौड ने कहा कि राज्य सरकार नवजीवन योजना के माध्यम से अवेध शराब के निर्माण, भण्डारण एवं विक्रय में लिप्त व्यक्तियों व समुदायों को सामाजिक व आर्थिक रूप से सक्षम बनाने हेतु आजीविका के संसाधन, अशिक्षा को दूर करने एवं मूलभूत सुविधाएं प्रदान करने हेतु प्रतिबद्ध है। उन्होंने बताया कि कंजर, सांसी, भाट, भाण्ड, नट, राणा, डोम एवं ढोली समुदाय के व्यक्ति व परिवार अशिक्षा व पिछडेपन के कारण अवेध शराब के निर्माण व भण्डारण व विक्रय में शामिल है। नवजीवन योजना के तहत स्वयंसेवी संस्थाओं के सहयोग से इन समुदायों के सर्वांगीण उत्थान हेतु कार्य किए जा रहे है।
उन्होंने बताया कि नवजीवन योजना के अन्तर्गत मोगिया, बावरिया, बेडियां, सिरकीवाल, चैबदार आदि जातियों को भी शामिल किया गया है। जिले में इन जातियों के संबंध में सर्वे हेतु स्वयंसेवी संस्थाओं सेे सुझाव आमंत्रित किए गए। स्वयंसेवी संस्थाओं के प्रतिनिधियों ने बताया कि जिले में अजमेर, ब्यावर, पुष्कर, पीसांगन, श्रीनगर, लोहारवाडा आदि स्थानों पर सर्वे कर उक्त समुदायों के सामाजिक, शैक्षणिक उत्थान हेतु नवजीवन योजना के माध्यम से कई जागरूकता व प्रशिक्षण कार्यक्रम संचालित किए जा रहे। उक्त समुदाय की बस्तियांें में महिलाओं व पुरूषों को स्वरोजगार के प्रशिक्षण कार्यक्रम के तहत ड्राईविंग, सिलाई, कडाई, ब्यूटी पार्लर, बेग मेकिंग आदि का प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
स्वयंसेवी संस्थाओं के प्रतिनिधियों ने उक्त समुदाय के लोगों को प्रशिक्षण के पश्चात् स्वरोजगार हेतु बैंक द्वारा ऋण नहीं देने की समस्या से अवगत कराया। जिस पर अग्रणी बैंक प्रबंधक श्री अनिल सिंहल ने ऐसे बैंक की सूची उपलब्ध कराने को कहा जहां से ऋण के आवेदन स्वीकृत नही हो पा रहें है। जिला उद्योग केन्द्र के श्री रणवीर सिंह ने कहा कि स्वयंसेवी संस्थाएं विभिन्न कौशल में दक्ष प्रशिक्षणार्थियों द्वारा निर्मित हस्तकला सामग्री के विक्रय हेतु अरबन हाट बाजार वैशाली नगर में लगने वाले मेलें में रियायत दर स्टाॅल ले सकते है। जिससे उक्त समुदाय के कौशल प्रशिक्षण प्राप्त प्रतिभागियों को आजीविका भी मिल सकेगी।
इस अवसर पर नवजीवन योजना के तहत ब्यावर में उक्त समुदाय की एक बस्ती को माॅडल बस्ती के रूप में विकसित करने पर भी चर्चा हुई। माॅडल बस्ती में बिजली, पानी, सडक, सी.सी. रोड, सामुदायिक भवन व शिक्षा, स्वास्थ्य आदि आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएगी।
बैठक में सिलोरा के प्रधान, स्वयंसेवी संस्थाओं के प्रतिनिधि एवं विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद थे।
error: Content is protected !!