संविधान की धज्जियां उड़ा रहे हैं गहलोत-देवनानी

अजमेर, 8 जनवरी। पूर्व शिक्षा राज्यमंत्री व अजमेर उत्तर के विधायक वासुदेव देवनानी ने कहा है कि नागरिकता के मसले पर राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत न केवल थूक कर चाट रहे हैं, बल्कि संविधान की धज्जियां भी उड़ा रहे हैं।
देवनानी बुधवार को शहर भाजपा दाहरसेन मण्डल की ओर से वैशाली नगर में बधिर विद्यालय के पास स्थित सत्यम पैलेस में नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) के समर्थन में आयोजित संगोष्ठी को बतौर मुख्य वक्ता संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि गहलोत ने किसी समय प्रदेश में रह रहे विस्थापितों को नागरिकता देने के लिए केंद्र सरकार को पत्र लिखे थे, लेकिन अब राजनीतिक स्वार्थ के लिए इसका विरोध कर रहे हैं। उन्होंने गहलोत से सवाल किया कि वे संविधान की रक्षा कर रहे हैं या इसकी धज्जियां उड़ा रहे हैं। जबकि मंत्री और मुख्यमंत्री बनते समय संविधान की की पालना और रक्षा करने की शपथ ली जाती है। उन्होंने गहलोत का नाम लिए बिना ललकारते हुए कहा कि सीएए को लागू नहीं करेंगे, तो गहलोत को मुख्यमंत्री रहने का कोई अधिकार नहीं है। उन्होंने कहा कि किसी भी व्यक्ति को नागरिकता देना पूर्ण रूप से केंद्र सरकार का अधिकार है और वह इसे लागू करके ही रहेगी। केंद्र सरकार अपने अधीन किसी भी अधिकारी को नागरिकता देने का अधिकार दे सकती है।
देवनानी ने कहा कि कांग्रेस व वामपंथी दलों द्वारा सीएए को लेकर लोगों को गुमराह किया जा रहा है। जबकि हकीकत यह है कि सीएए से किसी भी नागरिक की नागरिकता छीनी नहीं जा रही है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान और अन्य देशों में हिंदुओं को प्रताड़ित किया जा रहा है और वहां से बड़ी संख्या में हमारे लोग भारत आना चाहते हैं। दिसम्बर, 2014 तक जो भी विस्थापित भारत आए और अभी तक नागरिकता नहीं मिलने के कारण अभावों की जिंदगी जी रहे हैं, उन्हें नागरिकता देकर सम्मान से जीने का अधिकार देने में क्या हर्ज है, लेकिन विपक्षी दलों को इससे भी परहेज है। उन्होंने पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं का आह्वान किया कि वे घर-घर जाकर सीएए के बारे में लोगों को सही जानकारी दें। जनता में जगाई अलख ही विरोधियों को हमारा कड़ा जवाब होगा। उन्होंने कहा कि दो दिन पहले तक देश में 58 लाख लोग मिस्ड कॉल कर सीएए का समर्थन कर चुके हैं और यह क्रम लगातार चल रहा है।
मेयर धर्मेंद्र गहलोत ने कहा कि जब किसी विषय को लेकर बुरी ताकतें सड़कों पर उतर जाती हैं तो अच्छी ताकतों का घर से ही आशीर्वाद तो मिलता है लेकिन वह ना सड़कों पर उतरती हैं और ना ही मुखर होकर बोलती हैं। किंतु अच्छी ताकतों को भी बुरी ताकतों को कड़ा जवाब देने के लिए सड़कों पर उतरना ही होगा। ऐसा ही नागरिकता संशोधन अधिनियम के लिए भी लागू होता है।
शहर भाजपा अध्यक्ष डॉ. प्रियशील हाड़ा ने कहा कि वर्ष 1955 में बने नागरिकता अधिनियम में अब तक 8 बार संशोधन हुए हैं। हमारी सरकार द्वारा किया गया संशोधन नया नहीं है लेकिन विरोधी दलों ने इसे बेवजह मुद्दा बनाकर देश में अशांति पैदा करना शुरू कर दिया। ऐसे में यह हम सब का दायित्व है कि हम लोगों को गुमराह होने से बचाएं और सीएए के लिए जागरूक करें।
इससे पहले देवनानी और गहलोत ने पं दीनदयाल उपाध्याय और श्यामा प्रसाद मुखर्जी के चित्र पर माल्यार्पण कर संगोष्ठी का शुभारंभ किया। मंडल अध्यक्ष दीपेद्र लालवानी, पूर्व मंडल अध्यक्ष राजकुमार ललवानी, मंडल महामंत्री दीपक शर्मा धर्मराज गौतम, उपाध्यक्ष अशोक शर्मा, पार्षद राजेंद्रसिंह पंवार, महेश शर्मा आदि ने देवनानी, गहलोत, शहर भाजपा अध्यक्ष डाॅ प्रियशील हाडा, शहर भाजपा के महामंत्री रमेश सोनी व जयकिशन पारवानी का माला व दुपट्टा पहनाकर स्वागत किया। भाजपा महिला मोर्चा की पूर्व जिला अध्यक्ष श्रीमती रश्मि शर्मा ने संगठन गीत पेश किया। मंडल महामंत्री दीपक शर्मा ने वंदे मातरम का गान किया। संचालन पूर्व मंडल अध्यक्ष राजकुमार ललवानी ने किया और अंत में मंडल अध्यक्ष दीपेंद्र लालवानी ने आभार जताया।
संगोष्ठी में प्रकाश मेहरा, चंद्रेश सांखला, महेंद्र मित्तल, ज्ञान सारस्वत, वीरेंद्र वालिया, महेंद्र रावत, दिनेश खंडेलवाल, शंकरसिंह रावत, श्वेता शर्मा, उषा किरण जोशी, विनोद कंवर राठौड, शक्तिसिंह, दयालराम सिवासियां, डी पी शर्मा आदि मौजूद रहे।

error: Content is protected !!