विद्यालय में व्यावसायिक शिक्षा से होगा कौशल विकास

विधार्थी को विधालय स्तर पर हुनर व कौशल सिखाकर आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य से व्यावसायिक शिक्षा अंतर्गत नो बैग डे के अवसर पर बाल कौशल मेले का आयोजन राज्य की 5000 विद्यालयों मे किया गया।
बाल कौशल मेले का उद्देश्य कक्षा 6 से 8 के विधार्थियो को विभिन्न कामगारो द्वारा अपने हाथ के हुनर का अनुभव का परिचय विधार्थियो को कराना है ताकि विधार्थी आगे जाकर हुनरमंद बन रोजगार स्वरोजगार लायक बन सके।
स्थानीय सराधना विद्यालय में बाल कौशल मेले के अंतर्गत आर एन रावत ने कौशल व उसके महत्व को बता विभिन्न कौशल के माध्यम से रोजगारों के बारे में बताया इसके पश्चात मिट्टी के खिलौने व बर्तन,फूल माला,रंगोली,मेहंदी,सिलाई,मैकेनिक,पंचर,पार्लर,घरेलू उत्पाद आदि क्षेत्रों में से छात्रों ने एक्सपर्ट की मदद से स्वयं हाथो से बना हुनर का अनुभव प्राप्त किया।
व्याख्याता सीमा सोनी डाउ सिंह रामदेव कालेल राजकुमार शर्मा ने विधार्थियो को अपने क्षेत्र के कौशल व रोजगार के बारे में छात्रों को बताया।
इस दौरान सीमा चौधरी,निधि चाहर हेमलता,संजू जैदीया,रमेश कुमार पिस्ता वेद प्रकाश शर्मा,अश्विनी चिड़ीवाल,उमेश पारीक सहित अनेक शिक्षक व कलाकार उपस्थित रहे।
प्रधानाचार्य रेखा चौहान ने विधार्थियो को अपमे भीतर छिपे कौशल को बाहर लाने हेतु प्रेरित किया व कार्यक्रम में उपस्थित सभी का आभार प्रकट किया

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