कर्म ही सबसे बड़ी पूजा है – डॉ. सुभाष गर्ग

अजमेर। राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. सुभाष गर्ग ने कहा है कि नई पीढी स्वतंत्रता के मायने को कम अंक के चल रही है। स्वतंत्रता का अर्थ स्वच्छन्ता से लिया जाने लगा है। नई पीढी का दायित्व है कि स्वतंत्रता प्राप्ति के लिये जिन संकल्पों और मूल्यों की कामना स्वतंत्रता सैनानियों ने की थी वो उसकी प्राप्ति के लिये प्रतिबद्ध रहे। कर्म ही सबसे बड़ी पूजा है। समाज में सम्पूर्णता का भाव लुप्त होता जा रहा है। समाज त्याग के भाव से ही चलता है। डॉ. गर्ग शनिवार को गणतंत्र दिवस के अवसर पर राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड परिसर में झण्डारोहण करने के पश्चात बोर्ड कर्मियों को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होनें कहा कि आजादी के आन्दोलन तथा उसकी विचारधारा के विकास में जिस तरह भिन्न-भिन्न वर्गों ने योगदान किया था, उसी तरह अब नये समाज केे निर्माण का दायित्व भी किसी एक वर्ग या विभाग पर नहीं, सभी पर है। जरूरत इस बात की है कि हम उन मूल्यों को पहचाने जिन पर हमें नये समाज का ढांचा तैयार करना है। उन्होनंे बोर्ड कर्मियों का आव्ह्ान किया कि वे आत्मावलोकन करें कि वे समाज निर्माण में किस तरह प्रासंगिक हो सकते है।
– राजेन्द्र गुप्ता
सहायक निदेशक

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