अजमेर। सत्तगुरू जन्म लेकर ही संसार में आते है, वे निराकर ही होते है और साकार रूप में संसार में आते है, मिट्टी होती है, आपको लगती है किसी काम की नही, जब बर्तन का रूप ले लेती है तो संसार उससे काम लेना शुरू कर देता है, ऐसे ही प्रवचनों से साज संगत को रूबरू कराया संत धमनदास निरंकारी ने। वे शनिवार को आशागंज स्थित निरंकारी भवन में सत्तगुरू बाबा हरदेव सिंह जी के जन्मदिन पर आयोजित किये गये गुरू पूजा दिवस पर बोल रहे थे। गुरू पूजा दिवस के मौके पर निरंकारियो ने सार्वजनिक स्थानों की साफ सफाई की। इसमें वॉर्ड नंबर 17 की पार्षदा भारती श्रीवास्तव ने सेवाएं दी। बधिर विद्यालय में निरंकारी सुभाष की अगुवाई फल बांटे गये। निरंकारी मंडल में आयोजित भंडारे में सभी ने प्रसादी ग्रहण की।