वाराणसी। आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने गुरुवार को वाराणसी से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी पर गंगा आरती को लेकर राजनीति करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि आरती के लिए किसी की अनुमति की जरूरत नहीं होती। भाजपा प्रतिदिन होने वाले इस धार्मिक अनुष्ठान पर खामखा राजनीति कर रही है। मोदी को निर्वाचन आयोग की तरफ से आरती की इजाजत के लिए भेजी गई चिट्ठी दिखाते हुए केजरीवाल कहा, “निर्वाचन आयोग से धार्मिक कार्य के लिए किसी तरह की इजाजत की जरूरत नहीं होती। अनुमति सिर्फ राजनीतिक गतिविधि के लिए जरूरी होती है। भाजपा को हर मौके का राजनीतिक लाभ लेने की आदत पड़ गई है।”
उन्होंने कहा कि गंगा आरती का राजनीतिकरण करना सही नहीं है। वाराणसी में हर दिन हजारों लोग गंगा के घाट पर आरती करते हैं। दरअसल, भाजपा की नीयत साफ नहीं है, इसलिए दैनिक धार्मिक अनुष्ठान का भी अपने पक्ष में राजनीतिक इस्तेमाल करना चाहती है, यह बात प्रशासन अच्छी तरह समझता है। केजरीवाल ने टीवी चैनल सीएनएन-आईबीएन से कहा, “भाजपा का कहना है कि उसने इजाजत मांगी। लेकिन जब तक आप पार्टी के झंडे, बैनर का इस्तेमाल नहीं करते या राजनीतिक गतिविधि में शामिल नहीं होते, आपको अनुमति की जरूरत ही कहां है। मैं तो गंगा आरती में कई बार शामिल हुआ, मुझे तो कोई दिक्कत नहीं हुई।” दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, “आपको राजनीतिक गतिविधियों के लिए अनुमति की जरूरत है, न कि धार्मिक कार्य के लिए। मैं कई बार आरती के लिए गया हूं। मैं अकेला भी गया हूं। मेरा मकसद तमाशा करना नहीं था, इसलिए कोई समस्या नहीं हुई। भाजपा को सोचना चाहिए, उसे ही समस्या क्यों होती है।”
केजरीवाल ने यह भी जानना चाहा कि भाजपा के कई वरिष्ठ नेता क्यों धरने पर क्यों बैठे? इनका सीधा मकसद था सोमवार को वाराणसी में होने वाले मतदान से पहले मीडिया में सुर्खियां बनाना।
आप नेता ने कहा कि गुरुवार को रैली करने के लिए वाराणसी प्रशासन ने भाजपा से दो में से एक स्थान बदलने को कहा था। लेकिन भाजपा मुस्लिम बहुल इलाके बेनियाबाग में रैली करने पर अड़ी रही। इससे स्पष्ट है कि भाजपा का मकसद वहां कुछ और करने का था, जो नाकाम हो गया। पार्टी इसलिए बौखलाई हुई है। यह पार्टी लोगों का दिल जीतने के बजाय ध्रुवीकरण की चाल चलकर जीतना चाहती है।
केजरीवाल का मानना है कि भाजपा को प्रशासन का अनुरोध मान लेना चाहिए था। इससे पहले केजरीवाल ने ट्विटर पर लिखा, “मोदी क्यों नहीं आरती करते? क्यों इसे राजनीतिक रूप दे रहे हैं?”
उन्होंने कहा कि उन्हें कभी किसी ने मंदिर जाने से नहीं रोका। केजरीवाल ने कहा, “गुरुवार की शाम मैं फिर अपनी पत्नी के साथ गंगा आरती में जा रहा हूं।”