ट्विटर: ‘बिहारी बाबुओं में है रेल चलाने का हुनर’

twitterनई दिल्ली। जिस तरह से एक के बाद एक रेल मंत्रियों को इस्तीफा देना पड़ रहा है, जब तक किसी बिहारी नेता को रेल विभाग नहीं सौंपा जाएगा तब तक कोई भी मंत्री एक सप्ताह, एक महीना, या एक साल से ज्यादा मंत्रालय में नहीं टिक पाएगा। अब तो ये साबित हो गया कि रेल मंत्रालय चलाने का हुनर बिहारी बाबुओं में ही है। ऐसा हम नहीं, ट्विटर पर देश की जनता बोल रही है। दरअसल, रेल मंत्री पवन कुमार बंसल और कोयला घोटाले में बली का बकरा बने कानून मंत्री अश्विनी कुमार ने आखिरकार इस्तीफा दे ही दिया है। आइए नजर डालते हैं कुछ रोचक ट्वीट्स पर:

एक पवन बंसल जिनको बकरा बचा नहीं पाया और दूसरे अश्विनी कुमार जो बलि का बकरा बन गए। -नरेश पाहुजा

ओहो क्या कर रहे हैं काटजू साहब आप। पवन बंसल और अश्विनी कुमार के लिए माफी वाला पत्र नहीं लिखेंगे क्या। -प्रशांत

बंसल और अश्विनी के इस्तीफे के बाद प्रधानमंत्री के पास कोई रक्षा कवच नहीं बचा है। अब वह शतरंज की बिसात पर अकेले राजा रह गए हैं। – जय किशन रेड्डी

पवन बंसल के ऊपर बकरी ने केस ठोंका, पति की हत्या का। – राजेश शर्मा

पवन कुमार बंसल अगर पवन कुमार गांधी होते तो रॉबर्ट वाड्रा की तरह कोई उनके गिरेबान तक नहीं पहुंच पाता। -अशोक पंडित

गोट से मुझे याद आया कि हिंदी में स्कैम को क्या कहते हैं घोटाला, नहीं गोटाला -दिवाकर

गोट तो गए अब बारी है बड़ी मछलियों की, तो तैयार हो जाएं – सुषमा

रेल मंत्री के तौर पर अबतक बकरों ने ही कमान संभाली थी अब शायद गधो की बारी है। – दीपिका

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