अजमेर के अधिकांश युवाओ की समस्या

अंकुर सोनी
अंकुर सोनी

अभी तक अजमेर को “रिटायर लोगो का शहर” समझा जाता है चूँकि अजमेर में अधिकांश लोग नौकरी पेशा है और अजमेर में उद्योग और बड़ी बहुराष्ट्रीय कम्पनियो  का अभाव है इसलिए अजमेर का  युवा नौकरी और व्यवसाय की तलाश में दूसरे शहर की और रुख करता है  .यंहा तो वह सिर्फ त्योहारो पर या कभी कभी “छुट्टी मिलने” पर ही आ पाते है.इस वजह से पारिवारिक जीवन  अस्त व्यस्त हो रहा है. उधर बच्चो को माता पिता, परिवार की चिंता इधर माता पिता को बच्चो की चिंता .
अगर अजमेर का शासन -प्रशासन मिल कर उद्योगो को ,बड़ी कम्पनियो को अजमेर की तरफ आकृषित करते है और साथ में अजमेर के स्थानीय युवाओ को यही रोजगार स्थापित करने में मदद करते है  तो बहुत अच्छा प्रयास होगा जिससे अजमेर का युवा  अपने ही शहर  मै रह कर अपने  घर को भी संभाल सकेगा और  आने वाले अजमेर के युवा को भी मार्दर्शन कर सकेगा.
देवनानी जी ने विधान सभा में मांग रखी थी की अजमेर को सिरेमिक हब बनाया जाये इस को लेकर बजट में प्रस्ताव भी पास हुआ था . यह एक अच्छा प्रयास है .इसी तरह अन्य जनप्रतिनिधि और प्रशासनिक अधिकारी प्रयास करेंगे तो आने वाले समय अजमेर के लिए स्वर्णिम होगा.
यह अजमेर का सौभाग्य है की दोनों विधायक राज्य सरकार में मंत्री है और सांसद भी केंद्र सरकार में मंत्री है ,लखावत जी को  भी राज्य मंत्री का दर्जा मिला हुआ है     .”स्मार्ट सिटी और हेरिटेज सिटी का बजट भी मिला हुआ है और घोषणा भी हो गयी है एयरपोर्ट का कार्य शुरू हो चूका है जमीन,बिजली,पानी,रेल ,सड़क  ,पड़ा लिखा युवा की मैन पावर, सब कुछ है यंहा पर जो उद्योग को आकर्षित कर सकता है
.सही समय है उद्योगो और कम्पनियो को निवेश के लिए आकर्षित करने का ..                अब देखो क्या होता है, वैसे अब जनता जागरूक हो गयी है जिसको पसंद करती है उसको पूरे बहुमत से चुन कर आगे भेज रही है और जिसने काम नहीं करा उसको  पूरी तरह नकार भी रही है,चाहे केंद्र हो या राज्य –-लेखक अंकुर सोनी
(सामाजिक  और राजनैतिक विषयो पर लिखते है)

2 thoughts on “अजमेर के अधिकांश युवाओ की समस्या”

  1. Behad kam samay me achanak Ajmer k Liye kai acche parivartan dekhne ko mile h. Halanki hum me se kaiyo ka dhyan es aur nahi gaya tha. Sabhi acchi bato ko jodkar ek nai disha aur unchai ki aur dekhti lekhak ki nazar prabhavit karti h.

    Sahi maayne me ab udhyogo ko aakarshit karke hi en sabhi karyo ki safalta sunishchit ki ja sakti h.

  2. Do you think people are open enough to understant new things
    any place is nothing its all about how youth take things they all are full of failure fear
    even they have nothing…

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