महर्षि दयानन्द सरस्वति विश्विद्यालय के पर्यावरण विज्ञान विभाग में विश्व पर्यावरण दिवस के उपलक्ष में एक दिवसीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया है। इस अवसर पर विभागाध्यक्ष डॉ0. प्रवीण माथुर ने संयुक्त राष्ट्र संघ के सचिव बानकीमून का संदेश सुनाया तथा बताया कि इस दिवस पर हम सभी को संयुक्त रूप से अपनी जिम्मेदारी को निभाना चाहिए। विश्व पर्यावरण दिवस संयुक्त राष्ट्र द्वारा एक मुख्य माध्यम है जिससे ना केवल पूरे विश्व में पर्यावरण के प्रति जागरूकता पैदा होती है अपितु पर्यावरण के प्रति कुछ सक्रिय कार्य करने की भी रूचि प्रत्येक व्यक्ति एवं संस्था में पैदा होती है तथा प्रत्येक व्यक्ति की कार्यवाही एक संयुक्त शक्ति में बदल जाती है जिससे पृथ्वी पर महत्वपूर्ण प्रभाव स्वतः ही उत्पन्न हो जाता है। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि लघु उद्यमिता एवं व्यवसायिक प्रबंध केन्द्र के निदेशक प्रो. बी.पी. सारस्वत जी ने अपने संदेश में बताया कि पर्यावरण के असंतुलन एवं इसके लगातार हो रहे शोषण के कारण इस दिवस को मनाने की आवश्यकता पड़ी। किसी भी वस्तु के अधिक संचय को उन्होंने हानिकारक बताया तथा दैनिक जीवन में भी अधिक वस्तुओं के संग्रह नहीं करने की अपील की। यूरोपीय देशों का आध्यात्मिकता व योग एवं हवन की तरफ बढ़ते झुकाव एवं भारत जैसे देशों को इसका केन्द्र बताते हुए सभी प्राकृतिक एवं सांस्कृतिक धरोहरों को संजोने का संदेश दिया। साथ ही उन्होंने आज सभी विद्यार्थियों को पर्यावरण के प्रति एक प्रण लेने की सलाह दी ताकि पर्यावरण में बदलाव को सुनिश्चित किया जा सके। खाद्य एवं पोषण विज्ञान की विभागाध्यक्ष प्रो. गुलराज कलसी कोहली ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की। हर दिन को पर्यावरण दिवस के रूप में मनाने की आवश्यकता पर उन्होंने बल दिया। विचारों में भोजन/खाद्य की अधिकता एवं पर्यावरण में संतुलन बनाने की अपील की। माईक्रोबायॉलोजी विभागाध्यक्ष डॉ. आशीष भटनागर ने अपने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से विद्यार्थि1यों को पेट्रोलियम एवं ईंधन के दुष्प्रभावों के बारे में बताया साथ ही इनसे होने वाले र्प्यावरणीय बदलावों जैसे कि भागौलिक उष्मीकरण, एसिड रेन, जैव ईंधन (बायो फ्यूल), पवन एवं सौर ऊर्जा जैसे हानिकारक आपदाओं को समझाया। विभाग के सह आचार्य डॉ. सुब्रोतो दत्ता ने संगोष्ठी में उपस्थित सभी का धन्यवाद ज्ञापित कर सभी अतिथियों को स्मृतिचिन्ह भेंट किए। इस अवसर पर एक क्विज एवं पोस्टर प्रतियोगिता भी आयोजित की गई।
डॉ. प्रवीण माथुर
विभागाध्यक्ष- पर्यावरण विज्ञान विभाग
महर्षि दयानन्द सरस्वती विश्वविद्यालय, अजमेर