शेषपुरा में ग्रामवासियों ने किया श्रमदान

beawar samacharब्यावर, 4 मई। मुख्यमंत्राी जल स्वावलम्बन अभियान के तहत जवाजा पंचायत समिति की ग्राम पंचायत देलवाड़ा के ग्राम शेषपुरा में बाडीघाटी से शेषपुरा तालाब तक आव निर्माण के कार्य हेतु श्रमदान किया।
सहायक अभियन्ता जल ग्रहण शलभ टण्डन ने बताया कि ग्राम पंचायत देलवाड़ा के ग्राम शेषपुरा में सरपंच किरण काठात के नेतृत्व में लगभग 100 ग्रामवासी महिला-पुरूषों ने बाडीघाटी से शेषपुरा तालाब तक आव निर्माण का कार्य हेतु मिट्टी की खुदाई कर जनसहयोग किया। इस मौके पर स्थानीय जनप्रतिनिधियों व ग्रामवासियों ने बताया कि मुख्यमंत्राी श्रीमती वसुन्धरा राजे के नेतृत्व में ज़ारी जल स्वावलम्बन अभियान से गांव में वर्षा जल का संग्रहण कर कई समस्याओं का निस्तारण किया जा सकेगा, साथ ही ग्रामवासियों ने जल जागरूकता संबंधी नारे भी लगाए।
इस अवसर पर स्थानीय जनप्रतिनिधि, कनिष्ठ अभियन्ता भागचन्द उदेनिया, अखिलेश पटेल, जलग्रहण विकास दल के दीपक उदय, जगदीश समेत कई ग्रामवासी मौजूद थे। –00–

सम्पर्क समाधान जनसुनवाई 5 मई को
ब्यावर, 4 मई। उपखण्ड अधिकारी श्री आशीष गुप्ता की अध्यक्षता में सम्पर्क समाधान जनसुनवाई बैठक पंचायत समिति जवाजा के सभागार में 5 मई गुरूवार को प्रातः 10 बजे से आयोजित होगी। जनसुनवाई में स्थानीय जनप्रतिनिधि एवं विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद रहेंगे। –00–

पानी के बिल 10 मई तक जमा होंगे
ब्यावर, 4 मई। जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग ब्यावर द्वारा तकनीकी कारणों से शहर में पानी के बिलों का वितरण समय पर नहीं होने से पानी के बिल जमा कराने की अंतिम तिथि 10 मई 2016 तक बढ़ाई गई है। उक्त जानकारी सहायक अभियन्ता एस.के.माथुर ने दी। –00–
विश्व संग्रहालय दिवस 18 मई को
राजकीय संग्रहालयों में पर्यटकों का प्रवेश निशुल्क
ब्यावर, 4 मई। ’’विश्व संग्रहालय दिवस’’ 18 मई 2016 के उपलक्ष में प्रतिवर्ष की भांति समस्त राजकीय संग्रहालयों एवं संरक्षित स्मारकों में देशी-विदेशी पर्यटकों का प्रवेश निशुल्क रहेगा। –00–

बाल विवाह की प्रभावी रोकथाम के लिए व्यापक प्रबन्ध
ब्यावर, 4 मई। प्रदेश में बाल विवाहों की रोकथाम के लिए समस्त जिला कलक्टर व पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिये गए हैं कि वे बाल विवाह की रोकथाम के लिए अपने-अपने क्षेत्रा में समुचित कदम उठाएं एवं सूचना प्राप्त होने पर बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 के तहत कानूनी कार्यवाही करें।
बाल विवाह पर रोकथाम के लिए प्रदेश में गृह विभाग द्वारा ज़ारी पत्रा में कहा गया है कि अक्षय तृतीया (आखातीज) 9 मई एवं पीपल पूर्णिमा 21 मई पर होने वाले बाल विवाहों को रोकने के लिए समाज की मानसिकता एवं सोच में सकारात्मक परिर्वतन लाना आवश्यक है। इन अवसरों पर विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों में बाल विवाहों के आयोजनों की प्रबल सम्भावना रहती है।
बाल विवाह की रोकथाम के लिए विभिन्न विभाग जैसे सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग, शिक्षा विभाग के ग्राम स्तरीय कार्यकर्ताओं को सक्रिय रहने के लिए कहा गया है। साथ ही पटवारी, अध्यापिका इत्यादि को बाल विवाह होने पर निकट के पुलिस स्टेशन में सूचना देने के लिए पाबंद किया गया है। सार्वजनिक स्थानों पर सूचना बाॅक्स रखने एवं इसके लिए नियंत्राण कक्ष स्थापित करने को कहा गया है।
इसी प्रकार विद्यालयों को निर्देश दिए गए हैं कि विद्यालय स्तर पर बच्चों को बाल विवाह के दुष्परिणामों व इससे संबंधित विधिक प्रावधानों की जानकारी दें। ग्रामसभाओं में भी सामूहिक रूप से बाल विवाह के दुष्प्रभावों की चर्चा एवं निर्वाचित जन प्रतिनिधियों के साथ चेतना बैठकों का आयोजन करने का सुझाव भी दिया गया है। प्रिन्टिंग प्रेस वालों को कहा गया है कि वे विवाह हेतु छपने वाले निमन्त्राण पत्रा में वर-वधू की जन्म तारीख प्रिन्ट करने पर बल देने के साथ ही वर-वधू के आयु के प्रमाणपत्रा अपने पास रखे।
कन्ट्रोल रूम स्थापित होंगे
बाल विवाह की रोकथाम के लिए अक्षय तृतीया से पूर्व जिलों में कलक्टर, पुलिस अधीक्षक एवं उपखण्ड कार्यालयों में कन्ट्रोल रूम स्थापित करने के निर्देश हैं जो 24 घण्टे क्रियाशील रहेंगे। बाल विवाह के आयोजन किये जाने की स्थिति में बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम-2006 के तहत जवाबदेही निर्धारित करने एवं जिनके क्षेत्रों में बाल विवाह सम्पन्न होने की घटना होती है, उनके विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही करने को कहा गया है। –00–

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