अजमेर मंडल पर मांडल -नसीराबाद के बीच दौड़ा पहला इलेक्ट्रिक इंजन

320.18 करोड़ रूपये की लागत से 294.50 किलोमीटर लंबे अजमेर उदयपुर रेलखंड के विद्युतीकरण के अन्तेर्गत अजमेर –चित्तौड़गढ़ खंड पर डेट से अजमेर स्टेशनों के बीच रेल मार्ग के विदुतिकरण का कार्य कर लिया गया है । आज दिनांक 27.3.18 को 175 किलोमीटर लंबे डेट –अजमेर खंड के विद्युतीकृत रेल मार्ग का निरीक्षण रेल संरक्षा आयुक्त, पश्चिमक्षेत्र, मुम्बई श्री सुशील चंद्रा द्वारा किया गया । जिसके अन्तर्गत मांडल से नसीराबाद के बीच लगभग 100 किलोमीटर लम्बे मार्ग का स्पीड ट्रायल भी हुआ जिसके अंतर्गत 100 किलोमीटर प्रति घन्टा की रफ़्तार से रेल इंजन दोडा ।इस प्रकार आज इस मार्ग पर पहली बार रेल इंजिन दौडा । इस अवसर पर मंडल रेल प्रबंधक श्री पुनीत चावला सहित मंडल व मुख्यालय के अन्य अधिकारी उपस्थित थे ।
निरीक्षण के दौरान रेल संरक्षा आयुक्त, पश्चिमक्षेत्र, मुम्बई श्री सुशील चंद्रा ने विद्युतिकृत मार्ग का गहन निरीक्षण किया व अधिकारिओं को आवश्यक दिशा निर्देश दिए । अजमेर से उदयपुर के सम्पूर्ण खण्ड के विद्युतीकरण का कार्य प्रगति पर है एवं यह कार्य दिसम्बर 2018 तक पूर्ण करने का लक्ष्य रखा गया है। उल्लेखनीय है की अजमेर उदयपुर मार्ग के पूर्ण रूप से विदुतिकृत हो जाने पर इस मार्ग पर यात्री तथा मालपरिवहन तीव्र गति बढ़ेगी । डिजल इंजन नहीं होने से धुंए से वातावरण प्रदुषित नही होगा । ट्रेक की क्षमता बढ़ेगी। ऊर्जा संरक्षण होता है । रेल विद्युतीकरण के फलस्वरूप डीजल के खपत की बचत होगी । भारी माल गाडि़यों और लम्बी गाडि़यों का वहन संभव होगा ।

वरिष्ठ जन संपर्क निरीक्षक अजमेर

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