पान मसाला व तंबाकू पर लगाये प्रतिबन्ध

– विधान सभा में सिगरेट व तंबाकू उत्पाद विधेयक पर बोले देवनानी
– रोक के बावजूद शिक्षण संस्थाओं के पास बिक रहे है तंबाकू उत्पाद
– तंबाकू के सेवन से होती है कैंसर, बी.पी., हृदय रोग जैसी गंभीर बीमारियां

प्रो. वासुदेव देवनानी
जयपुर/अजमेर, 2 अगस्त। पूर्व शिक्षा राज्य मंत्री व विधायक अजमेर उत्तर वासुदेव देवनानी ने कहा कि प्रदेश की युवा पीढ़ी को तंबाकू रूपी जहर से बचाने के लिए गुटखा, पान मसाला व तंबाकू पर पूर्णतः प्रतिबन्ध लगाया जाना चाहिए। देवनानी ने यह बात राजस्थान विधान सभा में आज प्रस्तुत सिगरेट और अन्य तंबाकू उत्पाद संशोधन विधेकय 2019 पर चर्चा में भाग लेते हुए कही।
देवनानी ने विधान सभा में कहा कि सरकार ने इस संशोधन विधेयक के माध्यम से हुक्का बार पर प्रतिबंध लगाया है जो कि स्वागत योग्य कदम है परन्तु आज की युवा पीढ़ी तंबाकू के अन्य उत्पादों की ओर ज्यादा आकर्षित है। सरकार जब तक गुटखा, पान मसाला, सिगरेट आदि पर जिनका युवाओं द्वारा सर्वाधिक सेवन किया जा रहा है उन पर पूर्ण प्रतिबंध नहीं लगाती है तब तक इस संशोधन विधेयक की कोई प्रासंगिकता नहीं है।
उन्होंने कहा कि स्कूल, काॅलेज आदि शिक्षण संस्थाओं के 100 मीटर के दायरे में तंबाकू उत्पाद बेचने पर रोक होने के बाद भी आज खुले आम इनकी बिक्री जारी है। इसके अतिरिक्त 18 वर्ष की आयु से कम के बच्चों को भी तंबाकू उत्पाद बेचने पर रोक है, परन्तु ना तो कही इसकी कहीं सूचना और ना ही एसी कोई प्रभावी रोक नजर आती है जबकि हालात इतने चिंताजनक है कि देश में 2700 मौते प्रतिदिन तंबाकू सेवन से हो रही है। उन्होंने सदन में चर्चा के दौरान यह भी कहा कि रोक के बावजूद टीवी चेनलों, रेड़ियो व समाचार पत्रों में तंबाकू उत्पादन के विज्ञापन आते है जो कि युवा पीढ़ी को आकर्षित करते है।
देवनानी ने कहा कि हमारे देश में तंबाकू उत्पादों की लत इतनी बढ़ गई है कि कैंसर रोग महामारी की तरह फैल रहा है। तंबाकू में इतने हानिकारण तत्व पाये जाते है कि इसका दूसरा नाम जहर कहने में कोई अतिश्योक्ति नहीं है। तंबाकू में पाये जाने वाले निकोटिन में 28 प्रकार के कार्सिनोंजेनिक तत्व होते है जिससे मुहं, गले, फेफड़े, पेट किडनी का कैंसर होता है साथ ही निकोटिन में पाये जाने वाले काॅर्बन माॅनोआक्साईड से शरीर में आक्सीजन की कमी हो जाती है जिससे दिमाग व फेफड़े ठीक ढंग से काम नहीं करते है। निकोटिन हमारे शरीर में जाकर ब्लड प्रेशर को भी बढ़ाता है जिससे हृदय रोग होता है।
उन्होंने कहा कि इस जहर रूपी तंबाकू से हमारी युवा पीढ़ी को बचाने के लिए सरकार को गंभीरतापूर्व कदम उठाने चाहिए। शिक्षण संस्थाओं के पास इनकी बिक्री पर रोक के साथ नाबालिग बच्चों को भी इनकी बिक्री पर प्रभावी रोक की व्यवस्था करनी चाहिए। इनके विज्ञापनों पर प्रभावी प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए। देवनानी ने तंबाकू उत्पादों पर प्रतिबंध की पहल के रूप में सुझाव दिया कि सरकारी संस्थाओं में इसे पूर्णतः प्रतिबंध किया जाए। सबसे पहले विधानसभा परिसर में ही इस पर रोक लगाई जाए तथा कोई भी माननीय सदस्य व स्टाॅफ इसका सेवन ना करे।

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