बैंकर्स ऋण जमा अनुपात को बढ़ाने पर जोर दें-एजीएम आरबीआई

डीएलसीसी /डीएलआरसी समिति की बैठक सम्पन्न
अजमेर, 29 नवम्बर। जिला स्तरीय बैंकिंग मामलों की सलाहकार समिति एवं जिला स्तरीय समीक्षा समिति की बैठक शुक्रवार को अतिरिक्त जिला कलक्टर शहर श्री सुरेश कुमार सिंधी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित की गयी।
बैठक में अतिरिक्त जिला कलक्टर शहर ने सभी बैंकर्स को निर्देश दिये कि वे सरकार द्वारा प्रायोजित विभिन्न योजनाओं में समयबद्धता के साथ लक्ष्य अर्जित करें ताकि गरीब तबके को योजनाओं का लाभ मिल सके।
बैठक में भारतीय रिजर्व बैंक के सहायक महाप्रबंधक श्री राजेन्द्र एस रावत सभी बैंकर्स को ऋण जमा अनुपात बढ़ाने के निर्देश दिए। ये अनुपात 60 प्रतिशत से कम नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा कि आवेदक के ऋण प्रार्थना पत्र पर तत्काल कार्यवाही की जाए। उसे पैंडिंग में नहीं रखा जाए। स्वयं सहायता समूहों के बचत खातों को खोलने के कार्य को प्राथमिकता से लिया जाए तथा उन्हें 12 रूपए की बीमा राशि से आवश्यक रूप से जोड़ा जाए।
बैठक में नाबार्ड के जिला विकास प्रबंधक श्री बी.बी.खरबंदा ने बताया कि नाबार्ड प्रतिवर्ष देश के सभी जिलों के लिए संभाव्यतायुक्त ऋण योजना तैयार करता है। इससे प्राथमिकता क्षेत्र में संस्थागत ऋण की दिशा और प्रवाह दोनो निर्धारित करने में मदद मिलती है। जिससे बैंक ऋणों के माध्यम से समावेशी विकास को बल मिलता है। उन्होंने बताया कि अजमेर के लिए वर्ष 2020-21 के लिए योजना में 6 हजार 533 करोड़ का प्रावधान किया गया है।
इस मौके पर लीड बैंक अधिकारी श्री एस.एस.रावत ने विभिन्न बैंकों के ऋण जमा अनुपात, सितम्बर 2019 तक वार्षिक साख योजना की प्रगति, सरकार द्वारा प्रायोजित कार्यक्रमों की प्रगति, किसान क्रेडिट कार्ड, स्वयं सहायता समूह बैंक लिंकेज में हुई प्रगति की जानकारी दी।

संभाव्यतायुक्त ऋण योजना पुस्तिका का विमोचन
बैठक में नाबार्ड द्वारा तैयार संभाव्यतायुक्त ऋण योजना पुस्तिका का विमोचन भी अतिरिक्त जिला कलक्टर शहर श्री सुरेश कुमार सिंधी ने किया। इस मौके पर भारतीय रिजर्व बैंक के सहायक महाप्रबंधक श्री राजेन्द्र एस रावत, उप निदेशक कृषि श्री वी.के.शर्मा, लीड बैंक अधिकारी श्री एस.एस.रावत, सहायक लीड बैंक अधिकारी श्री आर.के.जैन उपस्थित थे।

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की शिकायतों के लिए गठित समिति की बैठक सम्पन्न
अजमेर, 29 नवम्बर। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना रबी 2019-20 फसल बीमा योजना तथा पुर्नगठित मौसम आधारित फसल बीमा योजना के अन्तर्गत शिकायतों के निराकरण के लिए गठित जिला स्तरीय शिकायत निवारण समिति की बैठक शुक्रवार को अतिरिक्त जिला कलक्टर शहर श्री सुरेश कुमार सिंधी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में सम्पन्न हुई।
बैठक में कृषि विभाग के उप निदेशक श्री वी.के.शर्मा ने बताया कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अन्तर्गत अजमेर जिले में योजना के सफल क्रियान्वयन के लिए एचडीएफसी एर्गो जनरल इंश्योरेन्स कम्पनी लिमिटेड को राज्य सरकार द्वारा अधिकृत किया गया है। वर्ष 2019-20 में फसली ऋण लेने वाले कृषक, गैर ऋणी कृषक एवं बटाईदार कृषकों द्वारा फसलों का बीमा करवाया जा सकेगा। जिले में जौ, जीरा, चना, सरसों , तारामीरा एवं गेहूं फसले योजनान्तर्गत फसल बीमा के लिए संसूचित है। रबी 2019-20 हेतु फसलों का बीमा करवाने हेतु कृषकों को सम्बंधित बैंक, संस्था को आधार क्रमांक अथवा उसका नामांकन संख्या अनिवार्य रुप से उपलब्ध करवाना होगा।

फसलों का बीमा कैसे कराया जाये
श्री शर्मा ने बताया कि अधिसूचित ईकाई क्षेत्र एवं अधिसूचित फसल के लिए जिन कृषकों को किसी वित्तीय संस्थान (सहकारी बैंक एवं सहकारी समिति, क्षेतर््ीय ग्रामीण बैंक, व्यवसायिक बैंक एवं भूमि विकास बैंक आदि) द्वारा रबी 2019-20 मौसम के लिए फसल ऋण की सीमा अनुमोदित (स्वीकृत) की गई हो तथा दिनांक 31 दिसम्बर 2019 तक ऋण वितरित किया गया हो। इस अन्तिम तिथि तक ऋण लेने वाले सभी कृषको का इस योजना के अन्तर्गत बीमा करना बैंको के लिए अनिवार्य होगा। ऋणी कृषकों का प्रीमियम उनके ऋण खातों से वसूल किया जायेगा। ऋणी कृषकों द्वारा बीमित फसल में परिवर्तन की सूचना वित्तीय संस्थान को देने की अंतिम तिथि 30 दिसम्बर है।
उन्होंने बताया कि गैर ऋणी कृषक अपनी फसलाें का बीमा 31 दिसम्बर तक निकट के केन्द्रीय सहकारी बैंक, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक अथवा वाणिज्यिक बैंक की शाखाओं, अधिसूचित बीमा कम्पनी के एजेण्ट, सीएससी (कॉमन सर्विस सेन्टर) के माध्यम से संबंधित बीमा कम्पनी में निर्धारित दर से फसल बीमा हेतु प्रीमियम राशि जमा करवानी होगी। गैर ऋणी कृषक द्वारा प्रस्तुत किए गए आधार कार्ड की प्रति, जमीन बटाई का शपथ पत्र (बटाईदार होने पर), नवीनतम गिरदावरी की नकल, बैंक खाते के आईएफएससी कोड एवं खाता संख्या सहित पास बुक की प्रति या खाते के कैंसल्ड चेक, बुवाई प्रमाण पत्र कृषि या राजस्व विभाग के कार्मिकों द्वारा जारी दस्तोवेजों को ऑनलाइन स्कैन कर अपलोड करना अनिवार्य होगा।

कृषक फसलों में हुए नुकसान की जानकारी कैसे दे
उन्होंने बताया कि फसलों में हुए नुकसान की जानकारी बीमा कम्पनी के टोल फ्री नम्बर 18002660700 पर नुकसान के 72 घण्टे के भीतर तथा लिखित रूप से नुकसान के 7 दिवस के भीतर से बीमा कम्पनी के कार्यालय में, बैंक के माध्यम से तथा कृषि विभाग के नजदीकी कार्यालय में लिखित रूप में प्रदान की जा सकती है।

ये जोखिम होंगे कवर
उन्होंने बताया कि रबी फसल में कम वर्षा अथवा प्रतिकूल मौसमीय परिस्थितियों में बुवाई नही होने की स्थिति (बाधित/निष्फल बुवाई), खडी फसल (बुवाई से कटाई) में सूखा,लम्बी सूखा अवधि, बाढ, जल प्लावन, कीट एव व्याधि, भू-स्खलन, प्राकृतिक आग एवं बिजली का गिरना, तूफान, ओलावृष्टि, चक्रवात, टाइफून, समुद्री तूफान, भंवर एवं बवंडर से होने वाले उपज में नुकसान के लिये व्यापक जोखिम बीमा का जोखिम राज्य सरकार द्वारा संपादित फसल कटाई प्रयोगों से प्राप्त उपज आंकडों के आधार पर कवर किया जाएगा। फसल कटाई उपरांत सूखने के लिये खेत में काटकर फैलाकर छोडी गई फसल को चक्रवात, चक्रवाती वर्षा एवं असामयिक वर्षा तथा ओलावृष्टि से होने वाले नुकसान के लिये कटाई उपरांत अधिकतम 02 सप्ताह (14 दिन) की अवधि के लिए भी बीमा कवर उपलब्ध होगा। इसी प्रकार अधिसूचित क्षेत्र के आंशिक कृषि भूमि क्षेत्र में ओलावृष्टि, भू-स्खलन, बादल फटना, प्राकृतिक आग एवं जलप्लावन से व्यक्तिगत आधार पर हुए नुकसान को भी बीमा कवर में शामिल किया गया है।
उन्होंने बताया कि जिले में बीमित राशि एवं प्रीमियम राशि फसलवार निर्धारित की गई है। देय प्रीमियम बीमित राशि का अधिकतम 1.5 प्रतिशत तथा उद्यानिकी एवं वाणिज्यिक फसलो हेतु अधिकतम 5 प्रतिशत ही कृषक द्वारा वहन किया जायेगा। शेष राशि 50-50 प्रतिशत के अनुपात मे केन्द्र एवं राज्य सरकार द्वारा देय होगी। प्रति हैक्टेयर जौ के लिए बीमित राशि 57 हजार एवं कृषक द्वारा देय प्रिमियम राशि 855 रूपए, जीरा के लिए बीमित राशि 73 हजार एवं कृषक द्वारा देय प्रिमियम राशि 350, चना के लिए बीमित राशि 34 हजार 500 एवं कृषक द्वारा देय प्रिमियम राशि 517.5 रूपए, सरसों के लिए बीमित राशि 45 हजार एवं कृषक द्वारा देय प्रिमियम राशि 675 रूपए, तारामिरा के लिए बीमित राशि 20 हजार 500 रूपए एवं कृषक द्वारा देय प्रिमियम राशि 307.5 रूपए तथा गेंहूं के लिए बीमित राशि 66 हजार एवं कृषक द्वारा देय प्रिमियम राशि 990 रूपए है।
बैठक में लीड बैंक अघिकारी श्री एम.एस.रावत, नाबार्ड के जिला विकास प्रबंधक श्री बी.बी.खरबंदा सहित विभिन्न बैंकर्स एवं संबंधित अधिकारीगण उपस्थित थे।

सोमवार की साप्ताहिक बैठक 10 बजे होगी
अजमेर, 29 नवम्बर। अतिरिक्त जिला कलक्टर प्रशासन श्री कैलाश चंद शर्मा ने एक आदेश जारी कर प्रत्येक सोमवार को होने वाली साप्ताहिक समीक्षा बैठक का समय प्रातः 10 बजे निर्धारित किया है। उन्होंने समस्त जिला स्तरीय अधिकारियों को समय पर पूर्ण सूचना के साथ बैठक में उपस्थित होने के निर्देश दिए है।

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