पोप बेनेदिकत ने अपने पदत्याग की घोषणा करते हुए कहा – “ईश्वर के समक्ष बार-बार अपनी अंतश्चेतना का निरीक्षण करने के बाद मैं इस निश्चित धारणा पर पहुँचा हूँ कि बढ़ती आयु के कारण अब मेरी सामर्थ्य दिव्य कर्तव्य पूरी तरह निभाने के उपयुक्त नहीं है.” ईसाइयत के दो हजार साल के इतिहास में पोप बेनेदिकत पहले पोप हैं जिन्होंने अपनी अंतरात्मा की आवाज़ पर पदत्याग की घोषणा की है.
कैथोलिक समाज में एक नया विचार मंथन शुरू हो गया है. पोप बेनेदिकत का बयान समूची कैथलिक दुनिया के लिए किसी न किसी तरह के बद्लाव का संकेत है. एक प्रमुख मुद्दा उभर कर आ सकता है कि वेटेकन की आध्यात्मिक व्यवस्था में विकासशील दुनिया को प्रतिनिधित्व मिलें क्योंकि चर्च के सबसे अधिक अनुयायी लगभग 77 प्रतिशत एशिया, अफ्रीका और लातिन अमेरिका के विकासशील देशों में है. वर्तमान में विकासशील देशों का पोप धर्म-व्यवस्था में पर्याप्त प्रतिनिधित्व नहीं है. कुछ लोगों ने यह उम्मीद जताई भी है कि नया पोप अफ़्रीका, एशियाया लातिन अमेरिका से चुना जां सकता है. सम्भावना है कि आगामी कार्दिनलों के सम्मेलन में नए पोप का चयन हो.
वेटिकन सिटी – संसार का सबसे छोटा देश पर दुनियाभर के कैथिलको की आस्था का महत्वपूर्ण केन्द्र
सन् 1929 इटली सरकार के प्रमुख मुसोलिनी और रोमन कैथलिक चर्च के प्रमुख के बीच हुए धर्मसन्धि समझौते के बाद वेटिकन सिटी एक अलग देश के रूप में दुनिया के सबसे छोटे देश के रूप में सामने आया. वेटिकन सिटी इटली की राजधानी रोम के भीतर स्थित है, इसका क्षेत्रफल 44 हेक्टेयर और जनसंख्या लगभग 900 है. वेटिकन सिटी कैथलिक चर्च दुनियाभर के कैथलिको की आस्था का सबसे महत्वपूर्ण केन्द्र है. पोप इसके प्रमुख और सर्वोच्च होते हैं. इस देश की सारी गतिविधियों का संचालन उन्हीं के निर्देश पर होता है. इस देश का अपना अलग कानून, अलग राजभाषा (लैटिन), अलग करेंसी, पोस्ट आफिस और रेडियो स्टेशन है. लैटिन के अतिरिक्त इस छोटे से देश में इतालवी, फ्रांसीसी, अँगरेजी आदि भाषा भी बोली जाती हैं. यह देश अपना पासपोर्ट भी जारी करता है, जिसे अंतरराष्ट्रीय मान्यता है.
-केशव राम सिंघल