फेसबुक से खुली किडनैपिंग की झूठी कहानी

किदवई नगर निवासी साइकिल व्यापारी के बेटी की अपहरण की कहानी फिल्मी निकली। उसने अपने पुरुष मित्र संग मिल कंपनी सीएस की पढ़ाई के लिए परिजनों के तैयार न होने पर रुपयों के खातिर फर्जी अपहरण की कहानी रची थी। इसका खुलासा लड़की के फेसबुक अकाउंट को खंगालने पर हुआ। लड़की अपने दोस्त के घर में छापेमारी के दौरान मिली।

किदवईनगर एन ब्लाक के हरमिंदर सिंह की रविवार दोपहर अपहृत बेटी साहिबजीत कौर को पुलिस ने रात तीन बजे साकेतनगर निवासी दोस्त लोकेश अग्रवाल के घर से बरामद कर लिया। एसएसपी यशस्वी यादव ने बताया कि छात्र के अपहरण की सूचना मिलते ही फिरौती के लिए आने वाले नंबर को सर्विलांस पर लगाया गया लेकिन सिम के अलग-अलग मोबाइल में प्रयोग से सटीक लोकेशन नहीं मिल पा रही थी। रात में छात्र की बहन ने फेसबुक अकाउंट खंगाला तो लोकेश पर संदेह हुआ। लोकेश से पूछताछ करने पर छात्र को उसके घर से बरामद कर लिया गया।

छात्र केमुताबिक दोनों की आठ माह पहले गुमटी स्थित कोचिंग सेंटर में मुलाकात हुई थी। दोनों सीएस करना चाहते थे लेकिन परिजन अधिक फीस के चलते तैयार नहीं थे। इसके बाद छात्र ने लोकेश संग मिलकर रुपयों के लिए अपहरण की योजना बनायी।

नौ हजार कॉल से मिला सुराग

अपहृत साहिबजीत को खोजने में पुलिस को फेसबुक से मदद मिली। साहिबजीत के 1000 फ्रेंड लिस्ट में संदिग्ध खोजने में जुटी पुलिस ने उसकी बहन के दोस्तों संग मिलान करा कर लोकेश समेत पांच लोगों को निकाला। जिसमें लोकेश के नंबर पर साहिबजीत की सबसे ज्यादा चैट के साथ 9000 कॉल किए गए। पुलिस ने लोकेश को रात में उठाने के बाद सख्ती से पूछताछ कर खुलासा किया।

‘मैजिक वाइस’ का इस्तेमाल

आवाज से पकड़े जाने के डर से छात्र व उसके साथी ने मैजिक वाइस साफ्टवेयर का इस्तेमाल किया। इससे उसकी आवाज को घर वाले पहचान न सके। वहीं सर्विलांस से लोकेशन ट्रेस न हो सके इसलिए अलग-अलग जगह से चार मोबाइल का इस्तेमाल किया।

लड़की पर भी होगी कार्रवाई

एसएसपी ने कहा अपनी बातों को मनवाने के लिए पुलिस प्रशासन को भ्रमित व परेशान करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। लोकेश के साथ इस पूरी घटना में छात्र भी दोषी है। छात्र पर विधिक कार्रवाई की जाएगी।

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