प्राचार्या द्वारा अपमानित गुरु शिष्य विरोध में

कला जगत के इतिहास में पहली बार हुई ऐसी घटना
राजस्थान स्कूल ऑफ आर्ट , जयपुर में अपनी मांगों के लिए हो रहे प्रदर्शन को आज 18 दिन हो गए है।
राजस्थान स्कूल ऑफ आर्ट के विद्यार्थी लगातार अपनी मांगों के लिए निरंतर प्रदर्शन व अनिश्चितकालीन कक्षाओं का बहिष्कार कर महाविद्यालय के बाहर बने हुए है हर रोज विद्यार्थी अपने भविष्य व राजस्थान में कला के अस्तित्व को बचाने के लिए किसी न किसी तरह प्रदर्शन कर रहे है । आज JDA से HRD को महाविद्यालय में निरक्षण हेतु भेजा गया और कल विद्यार्थियों से मिलने की बात की है शिक्षा विभाग जैसे अपने कान में रुई औऱ अपने मुँह पे पटी बांध के बैठे है ना तो कोई कार्यवाही न कोई सुनवाई हो रही है सब अपने ऑफिस में अय्यासी की जिंदगी जी रहे है बहार क्या हो रहा है विद्यार्थियों की शिक्षा का नुकसान हो रहा है उनसे उन्ह कोई लेना देना नही है।

अभी तक कोई सुध नही ली जारही है आखिर कब तक अच्छी शिक्षा के जुटे वादे किए जाएंगे । डारेक्टर व एडिशनल डारेक्टर ने विद्यार्थियों से बात करने की बोला लेकिन आज उन्ह 12 दिन हो गए है आज तक कोई मिलने तक नही आया । वो लोग वहाँ से केवल हम विद्यार्थियों को कठपुतली की तरह नचा रहे है और अपने कार्यालय से मनोरंजन का लुप्त उठा रहे है । सरकार व शिक्षा निर्देशालय से हम विद्यार्थी ये अनुरोध करते है कि या तो इस महाविद्यालय को बंद ही कर दिया जाए ताकि आगे और बच्चों का भविष्य खराब न हो या फिर इस महाविद्यालय के लिए जल्द से जल्द कोई ठोष कदम उठाए औऱ विद्यार्थियों के भविष्य के बारे में सोचा जाए।

राजस्थान स्कूल ऑफ आर्ट के प्राचार्या ने महाविद्यालय के व्याख्याताओ को भी अपमानित किया । इस से गुस्साए व्याख्याता हरशिव शर्मा, नरेन्द्र यादव, सुनीत गिलडियाल, गोपाल प्रशाद, मंजू परिहार, चन्द्रकान्ता पिलवाल भी प्राचार्या के विरोध में उतर आए है काली पटी बांध कर महाविद्यालय के बाहर प्रदर्शन पर बैठे हुए है । पिछले पांच दिनों से विरोध प्रदर्शन पे है और आज तक ना तो अभी तक प्राचार्या ने माफी मांगी न कॉलेज शिक्षा निर्देशालय ने कोई कार्यवाही की । व्याख्याताओ का यह कहना है कि जब तक प्राचार्या माफी नही मांगेगी या कॉलेज शिक्षा निर्देशालय द्वारा कोई कार्यवाही नही की जाती तब तक यह विरोध प्रदर्शन समाप्त नही होगा।

इस विरोध प्रदर्शन के दौरान राजस्थान स्कूल ऑफ आर्ट के एलुमिनी द्वारा तीन दिवसीय कला शिविर का आयोजन किया गया जिसका आज अंतिम दिन था जिसमें 55 विद्यार्थियों ने भाग लिया। कल तीन वरिष्ठ कलाकारों द्वारा उत्क्रष्ट कलाकृतियों को पुरस्कार के लिए चयनित किया जाएगा।

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