जनता कांग्रेस को करंट का झटका देकर हिसाब चुकता करेगी

Photo News Sujangarhनोखा/ सुजानगढ़/ श्रीडूंगरगढ़। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष श्रीमती वसुन्धरा राजे ने कहा कि कांग्रेस की इस जनविरोधी सरकार ने अपने साढे चार साल के कार्यकाल में तीन बार घरेलू बिजली की दरें बढ़ाकर महंगाई की मार से कराह रहे आम आदमी को करंट लगाया है। बात घरेलू बिजली की नहीं है, दूसरे तरीकों से भी बिजली के दामों में पांच बार बढ़ोतरी कर प्रदेश की जनता को इस सरकार ने छला है। उन्होंने कहा कि इस सरकार ने प्रदेश की जनता को पर्याप्त बिजली दी नहीं और घरेलू बिजली सितम्बर 2011 में 22.8 प्रतिशत, अगस्त 2012 में 17.6 प्रतिशत और जून 2013 में 14 प्रतिशत बढ़ा दी। इसके अलावा इस सरकार ने सितम्बर 2009 में 10 पैसा प्रति युनिट जल संरक्षण के नाम पर, अप्रेल 2010 में 10 पैसा प्रति युनिट शहरी विकास के नाम पर, जनवरी 2011 में 40 पैसे से बढ़़ाकर 52 पैसा प्रति युनिट इंडेक्शन फरनेंस पर, जनवरी 2013 में 16 पैसा प्रति युनिट फ्यूल सरचार्ज पर और मार्च 2013 में 5 पैसा प्रति युनिट शहरी विकास के नाम पर बिजली की दरों में बढ़ोतरी की है। इसलिये अब आने वाले चुनाव में जनता कांग्रेस को करंट का झटका देकर अपना हिसाब चुकता करेगी। श्रीमती राजे सुराज संकल्प यात्रा के पांचवें चरण के पहले दिन बीकानेर जिले के नोखा और श्रीडूंगरगढ़ तथा चूरू जिले के सुजानगढ़ कस्बे में आयोजित विशाल जनसभाओं में सम्बोधित कर रही थी।
उन्होंने कहा कि जो घरेलू बिजली उनकी भाजपा सरकार के समय 3 रुपये 50 पैसे प्रति युनिट थी वह आज 5 रुपये 45 पैसे प्रति युनिट हो गई है। अघरेलू श्रेणी की बिजली 4 रुपये 90 पैसे प्रति युनिट से 6 रुपये 60 पैसे प्रति युनिट हो गई है। छोटे उद्योगों के लिए जो बिजली 3 रुपये 50 पैसे प्रति युनिट थी वह अब 4 रुपये 85 पैसे प्रति युनिट हो गई है। मझले उद्योगों के लिए उनकी भाजपा सरकार 3 रुपये 75 पैसे प्रति युनिट बिजली देती थी, अब ये सरकार 5 रुपये 25 पैसे प्रति युनिट दे रही है। जो बिजली बडे़ उद्योगों को हमारी सरकार 4 रुपये 01 पैसा प्रति युनिट दिया करती थी, वही बिजली आज 5 रुपये 30 पैसे प्रति युनिट मिल रही है। उद्योगों पर जल संरक्षण, शहरी विकास और ईधन अधिभार के रूप में 41 पैसा प्रति युनिट अलग से वसूला जा रहा है। इसके बावजूद न घरेलू बिजली पर्याप्त मिल रही और न ही कृषि और औद्योगिक बिजली।
श्रीमती राजे ने कहा कि इस सरकार ने प्रदेश की जनता को मूलभूत सुविधाओं से महरूम रखा है। जो घरेलू बिजली उनकी भाजपा सरकार के समय शहरों में 24 घंटे मिलती थी, अब औसतन 15-16 घंटे से ज्यादा नहीं मिलती। ये ही बिजली गांव में 20 से 22 घंटे मिला करती थी आज औसतन 5-6 घंटे भी मुश्किल से नहीं मिल पाती। यही हाल किसानों की बिजली का है, जो उनके समय में 8 घंटे मिला करती थी, आज 3 से 4 घंटे से ज्यादा नहीं मिलती है। सस्ती और 24 घंटे बिजली के कारण जो उद्योग उनके समय मेें परवान पर थे, आज अघोषित कटौती के कारण बंद होने के कगार पर है।
उन्होंने कहा कि बार-बार ये सरकार ढोल पीट रही है कि हमने किसानों के बिजली के दाम नहीं बढ़ायें हैं, जबकि सच तो यह है कि इस शासन में किसान की बर्बादी एक रिकॉर्ड है। किसानों की मोटर चैकिंग में उनकी भाजपा सरकार के समय बढे़ हुए हॉर्स पावर पर 630 रुपये प्रति एचपी अतिरिक्त लिये जाते थे, अब इस शासन में 7 हजार रुपये प्रति एचपी के हिसाब से वसूली की जाती है।
श्रीमती राजे ने कहा कि मीटर चैकिंग के इन सभी मामलों की उनकी सरकार जांच करवायेगी और दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्यवाही करेगी। साथ ही किसानों से ज्यादा वसूल की गई राशि को उन्हें वापस लौटाया जायेगा।
ये थे मौजूद- भाजपा के राष्ट्रीय सचिव भूपेन्द्र यादव, पूर्व केन्द्रीय मंत्री कैलाश मेघवाल, सुभाष महरिया, भाजपा विधायक दल के सचेतक राजेन्द्र राठौड, सांसद दुष्यंत सिंह, सांसद रामसिंह कस्वा, पूर्व मंत्री खेमाराम मेघवाल, पूर्व मंत्री डॉ. हरिसिंह, भाजपा के प्रदेश महामंत्री कालीचरण सराफ, सांसद अर्जुन मेघवाल, पूर्व सांसद जसवंत विश्नोई, पूर्व मंत्री रामनारायण डूडी, पूर्व विधायक मदनलाल सैनी, किशनाराम नाई, विधायक कृष्णेन्द्र कौर दीपा, विधायक गोपाल जोशी, विधायक डॉ. विश्वनाथ।

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