6दिसम्बर 1971 भारत पाक युद्ध , छाछरो फ़तेह किया था भारतीय सेना ने

पाकिस्तान की 80 किमी इलाके पर भारतीय सेना ने जमाया था कब्ज़ा
चंदन सिंह भाटी
जैसलमेर ठीक 48 साल पहले आज के ही दिन भारत पाक युद्ध में भारतीय सेना ने पाकिस्तान सेना के छक्के छुड़ा छाछरो सहित पाकिस्तान की अस्सी किलोटेर तक की जमीन पर भारतीय सेना ने फतेह कर कब्ज़ा कर लिया था, पहले 16 दिसम्बर 1971 को शाम चार बजे पाकिस्तान के जनरल नियाजी ने 93 हजार सैनिकों के साथ भारतीय सेना के समक्ष समर्पण किया था। इस युद्ध में जयपुर के 12 जवानों समेत राजस्थान के 307 सपूतों ने शहादत दी थी। दो मोर्चो पर लड़े गए इस युद्ध में राजस्थान की सीमा पर जयपुर के ब्रिगेडियर भवानी सिंह के नेतृत्व में छाछरो इलाके को जीता गया था। पाकिस्तान की हुकूमत से परेशान वहां के हिन्दुओं ने तब राहत की सांस ली थी, लेकिन बाद में शिमला समझौते में यह जमीन लौटा दी गई। 50 हजार हिन्दू परिवार रातों-रात भारत आने को मजबूर हो गए। उन लोगों ने कई माह तक तम्बुओं में रात बिताई। छाछरो आज भी उन्हें भुलाए नहीं भूल रहा है।

कहां है छाछरो
छाछरो पाकिस्तान के सिंध प्रांत के थारपारकर जिले में तहसील मुख्यालय है। यह बाड़मेर से करीब 160 किलोमीटर की दूरी पर है और गडरा रोड बॉर्डर से मात्र 70 किलोमीटर दूर है

1971: ‘द डेजर्ट स्कॉर्पियो’ के डंक से पस्त हुआ था पाकिस्तान!
पाकिस्तान की 80 किमी इलाके पर कब्जा: थल सेना स्पेशल फोर्स 10 पैरा कमांडों ‘द डेजर्ट स्कॉर्पियो’ की स्थापना 1 जून, 1967 को लेफ्टिनेंट कर्नल एनएस उथाया के नेतृत्व में थार में विशेष ऑपरेशन के लिए की गई थी।
वर्ष 1971 के भारत पाकिस्तान युद्ध में ‘ऑपरेशन कैक्टस लिली’ के दौरान 10 पैरा को पाकिस्तान के अंदर घुसकर 80 किमी से ज्यादा के क्षेत्र में सिंध क्षेत्र के छाछरों तक हमला की टास्क दी गई थी।10 पैरा कमाण्डो ने युद्ध सम्मान दिवस मनाया 10 पैरा कमाण्डो स्पेशल प ाsर्सेज `द् डेजक्वर्ट स्कोर्पियो’ ने शुक्रवार को एक खास समारोह में `छाछरो दिवस’ मनाया। समारोह में बडक्वी संख्या में पूर्व सैनिक और उनके परिजन शामिल हुए। 10 पैरा कमाण्डो स्पेशल प ाsर्सेज की स्थापना 1 जून 1967 को ले. कर्नल एन.एस. उथाया के नेतृत्व में रेगिस्तान में स्पेशल ऑपरेशन करने के लिए हुई थी। 1971 के भारत-पाक युद्ध `ऑपरेशन कैक्टस लिली’ के दौरान पल्टन को पाकिस्तानी सीमा के 80 किलोमीटर भीतर छाछरो-सिध पर हमला करने का आदेश मिला। पल्टन ने युद्ध के दौरान दुश्मन धरती छाछरो, वीरवाह, नागरपरकार, इस्लाम कोट पर 6-7 दिसम्बर 1971 की रात कई हमले किए। इन सप ल हमलों के कारण भारतीय सेनाओं को दुश्मन के भीतरी क्षेत्रों में जाकर बडक्वे क्षेत्रों पर कब्जा करने का मौका मिला। इस अदम्य साहस से, पल्टन को युद्ध सम्मान छाछरो तथा थियेटर ऑनर सिंध पदान किए गए। इस साहसिक नेतृत्व, दूरदर्शिता के प लस्वरूप 10 पैरा कमाण्डो स्पेशल प ाsर्सेज `द् डेजक्वर्ट स्कोर्पियो’ के तत्कालीन कमान अधिकारी ब्रिगेडियर सेवानिवृत्त सवाई भवानी सिंह को महावीर चक पदान किया गया। इसके अतिरिक्प, यूनिट को भी दो वीर चक, 3 सेना मेडल और एक मेन्शन-इन-डिस्पेच पदान किया गया।

chandan singh bhati
7597450029

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