माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के 214.59 करोड़ के बजट प्रस्ताव मंजूर

bser 450अजमेर 22 अप्रेल। राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के प्रबन्ध मण्डल ने शनिवार को वित्तीय वर्ष 2017-18 का 214.59 करोड़ रूपये के बजट प्रस्तावों को स्वीकार कर लिया। इस बजट में 12.46 करोड़ रूपये का घाटा दर्शाया गया है जबकि गत वित्तीय वर्ष में यह घाटा 46 करोड़ रूपये था। बजट को प्रस्तुत करते हुए बोर्ड की सचिव श्रीमती मेघना चौधरी ने बताया कि घाटा कम रहने का मूल कारण सुदृढ वित्तीय प्रबन्धन, परीक्षा केन्द्रों पर कराई जाने वाली विडियोग्राफी और सी.सी.टी.वी. कैमरे के भुगतान में कडे़ मापदण्ड, बोर्ड की परीक्षाओं के दस्तावेजी प्रतिलिपि शुल्क में वृद्धि, बोर्ड परीक्षा के आवेदन पत्रों को प्रस्तुत करने में जानबूझ कर देरी करने वाले विद्यालयों पर दण्डात्मक कार्यवाही से प्राप्त होने वाली राशि से बोर्ड के घाटे को कम करने में मदद मिली है। सबसे महत्वपूर्ण तथ्य है कि बोर्ड परीक्षाओं के नाम पर निजी विद्यालयों द्वारा टेन्ट हाउसों से किराये पर लिये जाने वाली फर्नीचर की राशि के भुगतान पर बोर्ड ने पूर्णरूप से लगाम कस दी जिससे बोर्ड को छः करोड़ रूपये राशि की बचत हुई। बोर्ड प्रबन्ध मण्डल के सदस्यों ने सर्वसम्मति से बोर्ड प्रशासन द्वारा उठाये गये कदमों पर अपनी सहमति दर्ज कराई।
बोर्ड प्रबन्ध मण्डल ने परीक्षा समिति के वर्ष 2017 की परीक्षा से योग्यता सूची जारी नहीं करने के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया। अब बोर्ड परीक्षाओं के संबंध में स्थाई और अस्थाई योग्यता सूचियाँ जारी नहीं की जायेगी, परन्तु बोर्ड द्वारा आयोजित दीक्षान्त समारोह में सर्वोच्च अंक प्राप्त करने वाले प्रथम तीन विद्यार्थियों को पदक प्रदान किये जायेगे। प्रथम को स्वर्ण पदक, द्वितीय एवं तृतीय को रजत पदक दिये जायेंगे। राज्य सरकार अथवा संस्थाओं द्वारा परीक्षार्थियों को प्रोत्साहन स्वरूप छात्रवृत्तियाँ, लेपटॉप, गार्गी पुरस्कार आदि दिये जाने हेतु अंकों के आधार पर सूची उपलब्ध करा दी जावे। यह भी निर्णय लिया गया कि परीक्षा 2018 से प्रायोगिक परीक्षा उसी जिले के राजकीय विद्यालय में सेवारत शिक्षकों से करवाई जावे। यदि किसी जिलें में परीक्षकों की कमी हो तो निकटतम जिले के राजकीय विद्यालय के शिक्षकों को नियुक्त कर परीक्षा करवाई जावे। विशेष परीस्थितियों में राजकीय विद्यालों को अध्यापकों की कमी होने की स्थिति में निजी विद्यालयों के अध्यापकों से परीक्षा करवाई जा सकती है।
प्रबन्ध मण्डल ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लेते हुए मूल्यांकन में गुणवत्ता के लिए वर्ष 2018 की परीक्षा के लिए प्रत्येक परीक्षक को अधिकतम 360 उत्तरपुस्तिकायें मूल्यांकन हेतु दिये जाने और जिन परीक्षकों ने वर्ष 2017 की उत्तरपुस्तिकाओं के बण्डल मूल्यांकन हेतु नहीं लिये है उनके विरूद्ध संबंधित जिला शिक्षा अधिकारी को कार्यवाही हेतु सूचित करने के निर्देश दिये।

बोर्ड प्रबन्ध मण्डल ने निर्णय लिया कि जिन विद्यालयों ने 10 अक्टूबर, 2016 तक स्थाई सम्बद्धता के लिए बोर्ड में आवेदन कर रखा है और उन विद्यायल के विद्यार्थी बोर्ड परीक्षा में निरन्तर प्रविष्ट हो रहे है। उन सभी विद्यालय से स्थाई सम्बद्धता की सभी कार्यवाही पूर्ण करवाकर व निर्धारित शुल्क प्राप्त कर उनको स्थाई सम्बद्धता प्रमाण-पत्र जारी कर दिये जावे।
बैठक की अध्यक्षता करते हुए बोर्ड के अध्यक्ष प्रो. बी.एल. चौधरी ने बताया कि बोर्ड के वर्तमान में 16 जिलों में विद्यार्थी सेवा केन्द्र संचालित है जहाँ से विद्यार्थी वर्ष 2001 से 2017 तक की अंकतालिका और माईग्रेसन प्रमाण-पत्र आवेदन के साथ ही प्राप्त कर सकते है। शिक्षा बोर्ड चालू वित्तीय वर्ष में इनका विस्तार करेगा और राज्य के सभी जिलों में बोर्ड के विद्यार्थी सेवा केन्द्र स्थापित किये जायेंगे। इससे दूर-दराज के विद्यार्थियों को अपने परीक्षा संबंधी दस्तावेजों को प्राप्त करने के लिए अजमेर स्थित बोर्ड कार्यालय आने की परेशानी से मुक्ति मिलेगी।
बोर्ड कॉलोनी में स्थित विद्या भवन गेस्ट हाउस के प्रथम तल का विस्तार कराया जायेगा ताकि बोर्ड परीक्षा, शैक्षिक कार्य और शिक्षण-प्रशिक्षण के कार्य हेतु आये हुये शिक्षकों को अल्प अवधि प्रवास के लिए स्थान मुहैया कराने की दृष्टि से 95 लाख रूपये के प्रस्ताव को भी स्वीकृति दी गई।
बोर्ड की वर्ष 2017 की प्रायोगिक पूरक परीक्षायें 1 अगस्त, 2017 और सैद्धांतिक पूरक परीक्षायें 10 अगस्त, 2017 से प्रारम्भ होगी। वर्ष 2018 की सीनियर सैकण्डरी की मुख्य परीक्षा गुरूवार 08 मार्च, 2018 से और सैकण्डरी की परीक्षा गुरूवार 15 मार्च, 2018 से प्रारम्भ होंगी।
उप निदेषक (जन सम्पर्क)

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